सैन्य बलों के प्रमुख (सीडीएस) जनरल बिपिन रावत का कहना है कि हम एक रॉकेट फोर्स की योजना बना रहे हैं। रॉकेट फोर्स भारत की स्ट्रैटेजिक न्यूक्लियर कमांड उर्फ स्ट्रेटेजिक फोर्सेज कमांड (एसएफसी) से अलग होगी। उन्होंने यह भी कहा कि अफगानिस्तान की सत्ता पर तालिबान के कब्जे के बाद दुनियाभर में आतंकवाद बढ़ने की आशंकाओं को लेकर भारतीय सेना पूरी तरह सतर्क है।
जनरल रावत ने तालिबान को लेकर दिया बड़ा बयान
जनरल रावत दिल्ली के इंडिया इंटरनेशनल सेंटर (आईआईसी) में एक सेमिनार में बोल रहे थे। उन्होंने मौजूदा हालात में भारत की हवाई ताकत को और मजबूत करने पर जोर दिया। देश की वायु शक्ति को और ताकतवर बनाने के लिए कदमों का जिक्र करते हुए सीडीएस जनरल रावत ने कहा कि हम राकेट फोर्स बनाने का विचार कर रहे हैं। हालांकि उन्होंने इस योजना के बारे में ज्यादा ब्यौरा नहीं दिया। हालांकि वायुसेना की ताकत बढ़ाने के लिए शुरू किए गए उपायों का जिक्र करते हुए चीफ डिफेंस ऑफ स्टाफ जनरल रावत ने कहा कि दुश्मनों की किसी भी चुनौतियों से निपटने के लिए खास तैयारी तीनों सेनाओं के एक साथ तालमेल बनाकर काम करने से ही हो सकती है।
सीडीएस जनरल बिपिन रावत ने यह भी कहा कि अफगानिस्तान में हालात और बिगड़ने का अंदेशा है। अफगानिस्तान में चल रहे मौजूदा हालात पर जनरल रावत ने कहा कि किसी ने नहीं सोचा था कि तालिबान इतनी तेजी से वहां कब्जा कर लेगा। अफगानिस्तान में आगे क्या होगा यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा लेकिन मौजूदा हालातों को देखते हुए वहां के हालात और बिगड़ने का अंदेशा है। केवल समय ही बताएगा कि अफगानिस्तान में क्या होगा। किसी को भी उम्मीद नहीं थी कि तालिबान इतनी तेजी से अफगानिस्तान पर कब्जा कर लेगा, इसलिए वहां और भी उथल-पुथल हो सकती है।
उन्होंने खुले तौर पर स्वीकार किया कि अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के साथ ही भारत के लिए मुश्किलें बढ़ गई हैं। पाकिस्तान और चीन की तालिबान से नजदीकियों ने हालात को भारत के लिए और अधिक चुनौतीपूर्ण बना दिया है। इसे लेकर भारत और भारतीय सेना पूरी तरह सतर्क है।तालिबान के अधिग्रहण और अमेरिकी सैनिकों की वहां से वापसी के बाद अफगानिस्तान की स्थिति पर जनरल बिपिन रावत का यह पहला आधिकारिक सार्वजनिक बयान है।
जनरल बिपिन रावत ने सख्त लहजे में कहा कि अफगानिस्तान से आने वाली किसी भी कार्रवाई से उसी तरह निपटा जाएगा जैसे भारत में आतंकवाद से निपटा जाता है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान संभावित रूप से तालिबान पर प्रभाव डाल सकता है और उनकी गतिविधियों को प्रायोजित कर सकता है।
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सीडीएस जनरल बिपिन रावत ने चीन, पाकिस्तान के भारतीय सीमाओं पर और अधिक आक्रामक होने की संभावना पर कहा कि पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर में ”छद्म युद्ध” जारी रखेगा। पाकिस्तान को चीन का एजेंट करार देते हुए सीडीएस रावत ने यह भी आशंका जताई कि पाकिस्तान पंजाब समेत देश के बाकी हिस्सों में भी समस्याएं पैदा करेगा। इसके लिए वह लगातार कोशिशें कर रहा है। जनरल रावत ने राष्ट्रीय सुरक्षा की विभिन्न चुनौतियों और उत्तरी सीमा पर चीन के आक्रामक रवैये से निपटने के लिए आधुनिक तकनीक के इस्तेमाल की जरूरत पर जोर देते हुए कहा कि हमें हर परिस्थिति के लिए तैयार रहना होगा।