कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग के साथ जारी किसानों के आंदोलन को ख़त्म करने के लिए बीजेपी ने एक मजबूत प्लान बनाया है। दरअसल, कृषि कानूनों के प्रति किसानों को जागरूक करने के लिए अब बीजेपी एक बड़े पैमाने पर जनजागरण अभियान की शुरुआत करेगी, जिसके तहत देशभर में करीब 700 चौपालों और प्रेस कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया जाएगा। इस माध्यम से बीजेपी किसानों में फैली भ्रांतियों को दूर करने की योजना बना रही है।
बीजेपी अपनाएगी ये तरीका
बताया जा रहा है कि बीजेपी प्रदेश से लेकर जिला और मंडल स्तरों पर भी आयोजन कर किसान कानूनों के सभी प्रावधानों के बारे में जनता को बताएगी। किसान कानूनों को लेकर आम किसानों के मन में उपजी शंकाओं का समाधान करने की दिशा में यह कवायद करने की तैयारी है। चौपालों का आयोजन तत्काल प्रभाव से शुरू होगा।
दरअसल, सितंबर में बने तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ पंजाब और हरियाणा के किसान बीते 26 नवंबर से दिल्ली का घेराव कर रहे हैं। अब तक पांच राउंड सरकार से चली बातचीत के बाद भी गतिरोध दूर नहीं हो सका है। केंद्र सरकार ने किसानों की मांगों को देखते हुए आधे दर्जन से अधिक संशोधन करने की बात कही, लेकिन किसान तीनों कानूनों की वापसी की मांग पर अड़े हैं।
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एक न्यूज एजेंसी से बातचीत करते हुए बीजेपी के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने बताया कि तीनों कृषि कानूनों के जरिए कृषि क्षेत्र में व्यापक सुधार होने हैं। लेकिन कुछ राजनीतिक दल चाहते हैं कि किसान पिछले 70 वर्षों की तरह ही बदहाल रहे। वे किसानों के बीच गलतफहमियां फैलाकर उन्हें भड़का रहे हैं। किसानों के बीच गलतफहमी दूर करने के लिए पार्टी उनके बीच जाने की तैयारी कर रही है। किसानों को सही बात पता चलेगी तो वे खुद आंदोलन का हिस्सा नहीं बनेंगे।