देश में जारी किसानों के आंदोलन के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को कृषि कानूनों की जमकर तारीफ़ की है। पीएम मोदी ने कहा कि नए कृषि सुधारों से किसानों को फायदा होने वाला है। उन्होंने कहा कि कृषि से जुड़े सारी चीजों से दीवारें हटा रहे हैं। नए कृषि कानून से किसानों को नए बाजार मिलेंगे। नए कृषि कानूनों से किसानों की आमदनी बढ़ेगी। कृषि क्षेत्र में निवेश से किसानों को बहुत फायदा होगा, उन्हें नए विकल्प मिलेंगे, नए बाजार मिलेंगे।
प्रधानमंत्री ने किया 93वीं वार्षिक वर्चुअल एक्सपो का उद्घाटन
प्रधानमंत्री मोदी ने यह वक्तव्य शनिवार को भारतीय वाणिज्य एवं उद्योग महासंघ (FICCI) की 93वीं वार्षिक वर्चुअल एक्सपो के उद्घाटन समारोह में लोगों को संबोधित करते हुए दिया। उन्होंने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से इस वर्चुअल एक्सपो का उद्घाटन किया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि खेती में जितना निजी क्षेत्र के द्वारा निवेश किया जाना चाहिए था उतना निवेश नहीं किया गया। निजी क्षेत्र ने कृषि क्षेत्र को एक्सप्लोर नहीं किया। पीएम मोदी ने कहा कि कृषि क्षेत्र में निजी कंपनियां अच्छा काम कर रही हैं, लेकिन उन्हें और भी अच्छा काम करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि देश में चौतरफा रिफॉर्म्स किए गए हैं। आज भारत में कॉरपोरेट टैक्स दुनिया में सबसे कम है। इंस्पेक्टर राज और टैक्स के जंजाल को पीछे छोड़कर भारत अपने उद्यमियों पर भरोसा कर रहा है और आगे बढ़ रहा है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कोरोना वायरस के खिलाफ केंद्र सरकार के रोडमैप की चर्चा की। उन्होंने कहा कि कोरोना काल में इतने उतार चढ़ाव पूरी दुनिया ने देखे हैं लेकिन जितनी तेजी से हालात बिगड़े, उतनी ही तेजी से सुधर भी रहे हैं। आज दिसंबर आते-आते स्थिति बहुत बदली हुई नजर आ रही है। हमारे पास जवाब भी है और रोडमैप भी है। आज अर्थव्यवस्था के जो इंडिकेटर हैं वो उत्साह बढ़ाने वाले हैं।
इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि कोरोना संकट के समय देश ने जो सीखा है, उसने भविष्य के संकल्पों को और भी दृढ़ किया है। इसका काफी बड़ा श्रेय भारत के उद्योग जगत को, युवाओं को और किसानों को जाता है। भारत ने जिस तरह बीते कुछ महीनों में एकजुट होकर काम किया, नीतियां बनाई, निर्णय लिए हैं, स्थितियों को संभाला है। उसने पूरी दुनिया को चकित कर दिया है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते 6 साल से दुनिया ने भारत पर जो विश्वास बनाए रखा है वह हाल ही के महीनों में अधिक मजबूत हुआ है। चाहे एफडीआई हो या फिर एफपीआई, विदेशी निवेशकों ने भारत में रिकॉर्ड निवेश किया है और ऐसा अब भी जारी है। अतीत की नीतियों ने कई क्षेत्रों में अक्षमता को बढ़ावा दिया और नए प्रयोग बंद कर दिए थे। लेकिन आत्मनिर्भर भारत अभियान ने हर क्षेत्र में दक्षता को बढ़ावा दिया है। उन क्षेत्रों में प्रौद्योगिकी आधारित उद्योगों को फिर से सक्रिय करने पर जोर दिया जा रहा है, जिनमें भारत को दीर्घकालिक प्रतिस्पर्धात्मक लाभ हैं।
अपने संबोधन में पीएम मोदी ने कृषि कानूनों का मुद्दा भी उठाया। उन्होंने तीनों कृषि कानूनों की तारीफ़ करते हुए कहा कि नए कृषि सुधारों से किसानों को फायदा होने वाला है। उन्होंने कहा कि कृषि से जुड़े सारी चीजों से दीवारें हटा रहे हैं। नए कृषि कानून से किसानों को नए बाजार मिलेंगे। नए कृषि कानूनों से किसानों की आमदनी बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि कृषि क्षेत्र में निवेश से किसानों को बहुत फायदा होगा, उन्हें नए विकल्प मिलेंगे, नए बाजार मिलेंगे।
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प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि खेती में जितना निजी क्षेत्र के द्वारा निवेश किया जाना चाहिए था उतना निवेश नहीं किया गया। निजी क्षेत्र ने कृषि क्षेत्र को एक्सप्लोर नहीं किया। पीएम मोदी ने कहा कि कृषि क्षेत्र में निजी कंपनियां अच्छा काम कर रही हैं, लेकिन उन्हें और भी अच्छा काम करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि देश में चौतरफा रिफॉर्म्स किए गए हैं। आज भारत में कॉरपोरेट टैक्स दुनिया में सबसे कम है। इंस्पेक्टर राज और टैक्स के जंजाल को पीछे छोड़कर भारत अपने उद्यमियों पर भरोसा कर रहा है और आगे बढ़ रहा है।