चुनाव आयोग की लाख सख्ती के बाद बंगाल में जारी चुनावी महासंग्राम में विवादित बयानों का सैलाब सा आ गया है। इसी कड़ी में इस बार मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक बार फिर चुनाव आचार संहिता को ठेंगा दिखाते हुए खुलेआम लोगों को सेंट्रल फोर्स के खिलाफ हमले के लिए उकसाया।

ममता बनर्जी ने सेंट्रल फोर्स के खिलाफ दिया बयान
बुधवार को कूचबिहार में एक जनसभा को संबोधित करते हुए ममता ने कहा कि सेंट्रल फोर्स के जवान बंगाल में चुनाव को प्रभावित कर रहे हैं। जरूरी है कि लोग उनका घेराव करें। बनर्जी ने कहा कि सीआरपीएफ के जवानों की तैनाती चुनाव में की गई है, जो सीधे तौर पर केंद्रीय गृह मंत्री के आदेश पर काम कर रहे हैं और एक विशेष पार्टी को जिताने के लिए लोगों को डरा धमका रहे हैं। उन्होंने कहा कि अगर सीआरपीएफ के जवान परेशान करते हैं तो लोग उनका घेराव करें लेकिन लोग वोट देने जरूर जाएं।
जनसभा में ममता बनर्जी ने केंद्रीय बल के कर्मियों पर विधानसभा चुनावों के दौरान महिलाओं के साथ छेड़छाड़ करने और लोगों के साथ मारपीट करने का भी आरोप लगाया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि केन्द्रीय फोर्स के जवान मतदाताओं को वोट डालने से रोक रहे हैं। ममता ने दावा किया कि केन्द्रीय फोर्स यह सब केद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के इशारे पर कर रहे हैं। ममता ने दावा किया है कि राज्य में चुनाव के दौरान अभी तक लगभग 10 लोग मारे गए हैं। उन्होंने कहा है कि राज्य का प्रशासन अब चुनाव आयोग चला रहा है। कृपया गौर करें कि मतदान प्रक्रिया के दौरान किसी की मौत नहीं हो।
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ममता बनर्जी के इस बयान के बाद राज्य में चुनाव के दौरान सेंट्रल फोर्स के जवानों पर हमले होने की आशंका बढ़ गई है। अभी तक तीन चरणों के मतदान के दौरान जगह-जगह केंद्रीय बलों के जवानों पर हमले की कोशिश की गई। उन्हें धारदार हथियार भी दिखाकर डराने की कोशिश की गई।
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