हिमाचल प्रदेश के किन्नौर जिले में स्थित एक गांव में आग ने भारी तबाही मचाई। यहां लगी
भीषण आग की लपटों ने कई घरों को जला के राख कर दिए जबकि अन्य कई घरों को भारी
नुकसान पहुंचा। इस तबाही में करोड़ों रुपये के नुकसान का अनुमान लगाया जा रहा है।
हालांकि सूचना मिलने के बाद भारत तिब्बत सीमा पुलिस बल के जवान और फायरब्रिगेड की
गाड़ियों ने गाँव वालों की मदद से आग पर काबू पाया।
आग की लपटों ने मचाई भारी तबाही
मिली जानकारी के अनुसार, जिले की कल्पा तहसील अंतर्गत पूरबनी गांव अचानक आग की लपटोंमें घिर गया। इस आग ने धीरे-धीरे भयानक रूप अख्तियार कर लिया, जिसकी
वजह से कम से कम दस घर जल कर राख हो गये तथा अन्य को भी नुकसान पहुंचा। गांव में
आग लगने की सूचना मिलते ही भारत तिब्बत सीमा पुलिस बल के जवान गांव में पहुंचे और
लोगों को बचाया। अग्निशमन कर्मी भी दमकलों के साथ गांव में पहुंचे तथा ग्रामीणों
की मदद से देर शाम तक आग पर काबू पाया।
बतायाजा रहा है कि इस गांव में अधिकतर मकान लकड़ी के और काष्ठकुणी शैली के बने हुये
हैं। आग शुक्रवार शाम लगभग तीन बजे लगी और देखते ही देखते भीषण रूप धारण कर लिया।
तेजी से फैलती आग में लकड़ी से बने घर धूं धूं कर जलने लगे। कम से कम दस घर पूरी
तरह से जल गये तथा कुछ एक को आंशिक नुकसान हुआ है। आग के कारण गांव के मंदिर को भी
नुकसान पहुंचा है।
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आगकी इस घटना में जले आग की लपटों से घरों में रखा कीमती सामान और जरूरी कागजात भी
आग की भेंट चढ़ गए। आग की तपस के कारण लोग जहां बहुत मुश्किल से जान बचा सके वहीं
उन्हें अपना कीमती सामान निकालने का भी मौका नहीं मिला। आग लगने के कारणों का अभी
पता नहीं चल पाया है। आग के कारण किसी जानी नुकसान की कोई सूचना नहीं है लेकिन
करोड़ों रूपये का नुकसान होने का अनुमान है।
इसबीच मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने आग की घटना पर दुख व्यक्त किया है। उन्होंने जिला
प्रशासन को प्रभावित परिवारों को तत्काल राहत मुहैया कराने तथा उचित पुनर्वास के
निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि प्रभावित परिवारों को हरसम्भव सहायता प्रदान की
जाएगी। फिलहाल मुख्यमंत्री के निर्देश पर प्रभावित परिवारों को 10-10 हजार
रुपये की राहत राशि प्रदान की गई है।