उत्तरकाशी जिले के धौंतरी उपतहसील के राजकीय इंटर कॉलेज में एक चौका देने वाला मामला सामने आया है। स्कूल की नई बिल्डिंग में छात्राओं के बैठते ही एक के बाद एक छात्राएं बेहोश होने लगी, जिससे शिक्षा विभाग और अभिभावक चिंतित हो उठे। इससे पहले चंपावत जिले में भी इसी तरह की एक घटना का मामला सामने आया था।
अभिभावक ने बताया ये वजह
अभिभावक अब्बल सिंह राणा ने इसे मास हिस्टीरिया बताया कि जो छात्राएं इस हादसे का शिकार हुईं हैं। उन्हें जल्दी से देव पश्वा के पास ले गए गए और वहां इन छात्राओं के इलाज के लिए उचित चिकित्सा सेवाएं प्रदान की जा रहीं हैं। राणा ने शिक्षा विभाग के अधिकारियों से मामले का संज्ञान लेकर समाधान की मांग की है।
क्या होता हैं मास हिस्टीरिया ?
जानकारी के मुताबिक आपको बता दे, मास हिस्टीरिया एक मनोविकार या मनोवैज्ञानिक समस्या है, जिसमें किसी व्यक्ति की असामान्य हरकतों को देखकर अन्य लोग भी उसे नकल करने लगते हैं। इस समस्या में व्यक्ति भीतर ही भीतर घुट रहता है और अपने असामान्य दर्द को किसी को समझाने में असमर्थ होता है। इसे लोग आम तौर पर दैवीय प्रकोप मानते हैं जिसमें देवी-देवताओं के माध्यम से इलाज किया जाता है।
क्या हैं इसके लक्षण ?
आपको बता दे, मास हिस्टीरिया के लक्षण में पेट या सिर दर्द, बालों को नोंचना, हाथ पांव पटकना, इधर-उधर भागना, रोना, चिल्लाना, गुस्सा करना, उदास रहना, थोड़ी देर के लिए बेहोश होकर अकड़ जाना, भूख और नींद में कमी आना शामिल होती है।
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