नयी दिल्ली। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने तीन नए आपराधिक कानूनों के लागू होने का हवाला देते हुए सोमवार को कहा कि इन तीनों कानून को विपक्ष के 146 सांसदों को निलंबित करने के बाद पारित कराया गया था, लेकिन अब इंडिया (इंडियन नेशनल डेवलेपमेंटल इन्क्लूसिव एलायंस) गठबंधन इस तरह से बुलडोजर न्याय संसदीय प्रणाली पर नहीं चलने देगा।
भारतीय न्याय संहिता 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 और भारतीय साक्ष्य अधिनियम (बीएसए) 2023 आज से पूरे देश में प्रभावी हो गए हैं। इन तीनों कानून ने ब्रिटिश कालीन कानूनों क्रमश: भारतीय दंड संहिता (आईपीसी), दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) और भारतीय साक्ष्य अधिनियम की जगह ली है।
खरगे ने एक्स पर पोस्ट किया, चुनाव में राजनीतिक एवं नैतिक झटके के बाद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी और भाजपा के नेता संविधान का आदर करने का खूब दिखावा कर रहे हैं, पर सच तो यह है कि आज से जो आपराधिक न्याय प्रणाली के तीन कानून लागू हो रहे हैं, वे 146 सांसदों को निलंबित कर जबरन पारित किए गए। उन्होंने कहा कि इंडिया गठबंधन अब ये बुलडोजर न्याय संसदीय प्रणाली पर नहीं चलने देगा। कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने आपराधिक कानूनों के संदर्भ में चर्चा की मांग करते हुए लोकसभा में कार्यस्थगन का नोटिस दिया है।
- सरकार साहसिक कदमों से विकसित भारत बना रही है : अनुप्रिया पटेल
- भारत का पाकिस्तान के खिलाफ एशिया कप मैच में पलड़ा भारी, जमीनी स्तर पर उत्साह की कमी
- सीएम धामी ने केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री से की मुलाकात, हवाई संपर्क व पर्यटन विकास पर चर्चा
- हांगकांग ओपन: सात्विक-चिराग सत्र के पहले फाइनल में पहुंचे
- नियमित अंतराल पर एसआईआर कराने का निर्देश निर्वाचन आयोग के क्षेत्राधिकार पर अतिक्रमण होगा: ईसी