उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस लगातार अपनी रणनीति तैयार कर रही है। इसी कड़ी में कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश में युवाओं पर ज्यादा भरोसा किया है। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी के नेतृत्व में पार्टी ने 166 उम्मीदवारों में से 70 फ़ीसदी ऐसे लोगों को टिकट दिया है जो कि नए और युवा चेहरे हैं। विशेषज्ञ यह बता रहे हैं कि युवाओं पर भरोसा जताकर कांग्रेस उत्तर प्रदेश में अपना नया नेतृत्व खड़ा करने की कोशिश कर रही है जो कि आने वाले दिनों में भी उसके लिए लाभकारी साबित हो सके। उत्तर प्रदेश में 7 चरणों में चुनाव होने हैं। उत्तर प्रदेश का चुनाव 10 फरवरी से शुरू होकर 7 मार्च तक चलेगा और नतीजे 10 मार्च को आएंगे।
पार्टी प्रवक्ता अंशु अवस्थी की ओर से बताया गया कि अब तक राज्य में कुल 166 उम्मीदवारों की सूची जारी की गई है। पहली सूची में 125 उम्मीदवार थे जबकि दूसरी सूची में 41 उम्मीदवार थे। 166 में से 119 उम्मीदवार पहली बार चुनावी मैदान में उतर रहे हैं। अंशु अवस्थी ने दावा किया कि प्रियंका गांधी ने उन सभी को राजनीति में लाने का प्रयास किया है। इसमें हर वर्ग को जोड़ने की कोशिश की गई है चाहे महिलाएं हो युवा हो या फिर किसान तथा पिछड़े और दलित वर्ग के लोग हो। उन्होंने कहा कि जाति और धर्म की राजनीति से पीड़ित उत्तर प्रदेश में कांग्रेस ने एक नई दिशा देने की शुरुआत की है।
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उत्तर प्रदेश में कांग्रेस की ओर से 40 फ़ीसदी महिला उम्मीदवारों को टिकट दिया गया है। इसके अलावा पहले सूची के 125 नामों में से 26 ऐसे उम्मीदवार हैं जिनकी उम्र 35 साल तक है। पार्टी की ओर से उन्नाव बलात्कार पीड़िता की 55 वर्षीय मां आशा सिंह को भी उम्मीदवार बनाया गया है। इसके अलावा सीएए कानून का विरोध करने वाले कार्यकर्ता सदफ जाफर, आशा कार्यकर्ता पूनम पांडे, आदिवासी कार्यकर्ता रामराज गोंड को भी पार्टी ने इस बार टिकट दिया है।