पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने राज्य सरकार के वित्त वर्ष 2021-22 का अंतरिम बजट शुक्रवार को पेश किया। वित्त मंत्री अमित मित्रा के अस्वस्थ होने की वजह से राज्यपाल जगदीप धनखड़ की अनुमति मिलने के बाद सीएम ममता बनर्जी ने शुक्रवार को विधानसभा में बजट पेश किया। इस दौरान केंद्र पर वह लगातार हमलावर रहीं। इधर विधानसभा में भाजपा विधायक दल के नेता मनोज टिग्गा के नेतृत्व में उनकी पार्टी के सदस्यों ने सीएम के संबोधन के दौरान लगातार जय श्रीराम के नारे लगाए और ममता के बयान के विरोध में वेल में उतर कर नारेबाजी करते हुए वाकआउट किया।
ममता बनर्जी ने केंद्र पर बोला हमला
सदन में बजट पेश करते समय भाजपा सदस्यों के हंगामे को शांत करने के लिए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी अनुरोध करती भी नजर आईं लेकिन विरोध प्रदर्शन जारी रहा। हंगामेदार माहौल का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि विधानसभा अध्यक्ष विमान बनर्जी ने भाजपा सदस्यों को शांत नहीं होने पर कार्रवाई की चेतावनी दी, जिसके बाद सदस्यों ने विरोध स्वरूप वाकआउट किया। माकपा और कांग्रेस के सदस्यों ने पहले ही विरोध स्वरूप बजट का बहिष्कार किया और विधान सभा में उपस्थित नहीं थे। फलस्वरूप ममता को केवल सत्तारूढ़ पार्टी के सदस्यों की मौजूदगी में बजट पेश करना पड़ा है।
इस दौरान ममता बनर्जी ने केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर पश्चिम बंगाल को वंचित करने के आरोप लगाए और भाजपा सदस्यों के हंगामे को लेकर भी तंज कसा है। विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि क्या संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संबोधन करते हैं तो इस तरह से विपक्षी विधायक व्यवहार कर सकते हैं? सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि बजट के समय कोई बात तक नहीं करता। भाजपा के सदस्यों को कोई जानकारी नहीं है। जब विधानसभा में महज चार से पांच भाजपा सदस्य हैं तो यह हाल है, तो सोचिए अगर इनकी संख्या बढ़ेगी तो क्या हालत होगी।
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इसके बाद ममता ने कहा कि कोविड-19 संकट के समय और राज्य में अम्फन चक्रवात की तबाही के दौरान भी पश्चिम बंगाल ने अच्छा काम किया। इसके बावजूद पश्चिम बंगाल की स्थिति बेहतर रही और कई मामले में हम नंबर वन हैं।