ओवैसी ने एक बार फिर सरकार को चेताया है और कहा है कि मुसलमान किसी भी तरह के समझौते पर राजी नहीं होंगे। समान नागरिक संहिता (UCC) के मामले पर लॉ कमीशन ने देश के सभी लोगों से उनके विचार पूछे हैं। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि UCC इस वर्ष के अंत तक लागू हो जाए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी एक चुनावी भाषण में UCC की जरूरत को बताया है। सरकार की इस पहल के खिलाफ मुस्लिम संगठनों ने एकजुट होकर इस मामले का विरोध किया है। आपको बता दे, AIMIM पार्टी के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी भी UCC के खिलाफ खुलकर विरोध प्रकट कर रहे हैं।
UCC उनका एक पुराना एजेंडा है
ओवैसी ने इस मामले में कहा है, “UCC उनका एक पुराना एजेंडा है। हमें याद है कि साल 1931 में महात्मा गांधी ने कहा था कि वह भारत के मुस्लिमों की शरीयत में हस्तक्षेप नहीं करेंगे। लेकिन यहां बार-बार कहा जाता है कि देश में एक समान कानून होना चाहिए। हमारे प्रधानमंत्री ने भी कहा है कि एक घर में दो कानून कैसे रह सकते हैं। हालांकि, उन्हें यह नहीं पता कि उत्तर प्रदेश में एक ऐसा राज्य है, जहां अपराधिक प्रक्रिया संहिता लागू नहीं हो सकती है।”
ओवैसी ने की शरीयत कानून की वकालत
शरीयत कानून की वकालत करते हुए ओवैसी ने कहा, “शरीयत कानून आपको इजाजत देता है कि आप अपनी ज़िंदगी कोरान के अनुसार जी सकें। जब संविधान बन रहा था तो इस कानून को हटाने की कोशिश नहीं की गई। जो चीज़ डॉ. अंबेडकर और कानून बनाने वाले ने नहीं सोची, वही बीजेपी अब सोच रही है। सरकार को यह जानना चाहिए कि इंग्लैंड में दो जुर्माने हैं। पड़ोस में श्रीलंका है, वहां पर्सनल लॉ है। इस्राएल और सिंगापुर में भी पर्सनल लॉ है ।
शरीयत जीने का एक रास्ता है
ओवैसी ने सरकार को चेताया है कि शरीयत जीने का एक रास्ता है और इस पर कोई समझौता नहीं किया जा सकता है। अगर आपका कस्टम है तो मेरा भी कस्टम है। अगर आरएसएस के लोग सोच रहे हैं कि मुल्ला जी को लक्ष्य बनाएंगे तो वह ग़लतफ़हमी में हैं। उन्हें बिल्किस बानो की घटना याद नहीं आती है, जहां बच्चियों के हिजाब को खींचा गया था। अब बात यह है कि क्या मुस्लिम बच्चियों को उनका हक़ दिलवाएंगे।
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने UCC का किया समर्थन
इसके अलावा, अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने यूनिफ़ॉर्म सिविल कोड (UCC) का समर्थन किया है। इस संबंध में, अखाड़ा परिषद के महामंत्री हरी गिरी महाराज ने राजनैतिक दलों और मुस्लिम संगठनों को इस कानून का अध्ययन करने की अपील की है। अखाड़ा परिषद के आचार्य महामडलेश्वर स्वामी कैलाशानंद ने कहा है कि उत्तराखंड में UCC के लागू होने से पूरे देश में एकता पैदा होगी।
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