–मुख्यमंत्री योगी बोले, प्रदेश सरकार कोरोना के खिलाफ पूरी तत्परता से लड़ रही लड़ाई
लखनऊ। प्रदेश में कोरोना की प्रतिदिन होने वाली जांच में तेजी से इजाफा होने के फलस्वरूप उत्तर प्रदेश ने बुधवार को एक और अहम उपलब्धि हासिल कर ली। राज्य में अब कुल कोरोना जांच का आंकड़ा एक करोड़ के पार पहुंच गया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कुछ दिनों पहले इस महीने के अन्त तक एक करोड़ जांच का लक्ष्य हासिल करने का निर्देश दिया था, जिस पर तेजी से कार्य करते हुए आज इस महीने के अन्तिम दिन इसे पूरा कर लिया गया।
मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्रदेश में अब तक एक करोड़ से अधिक कोविड-19 के टेस्ट हो गए हैं, जो एक रिकाॅर्ड है। उन्होंने कोरोना के संक्रमण को नियंत्रित करने के लिए डोर-टू-डोर सर्वे, सर्विलांस तथा मेडिकल टेस्टिंग की कार्यवाही को पूरी तेजी से संचालित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा है कि प्रदेश सरकार कोरोना के खिलाफ पूरी तत्परता से लड़ाई लड़ रही है।
मुख्यमंत्री ने बुधवार को अपने सरकारी आवास पर एक उच्चस्तरीय बैठक में कहा कि कोरोना के प्रसार को नियंत्रित करने तथा रोगियों को बेहतर उपचार उपलब्ध कराने में इंटीग्रेटेड कमाण्ड ऐण्ड कन्ट्रोल सेन्टर की महत्वपूर्ण भूमिका है। इसलिए यह सुनिश्चित किया जाए कि सभी जनपदों में इंटीग्रेटेड कमाण्ड ऐण्ड कन्ट्रोल सेन्टर पूरी सक्रियता से कार्यशील रहें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों से जनपद स्तर पर संवाद के साथ-साथ सीएम हेल्प लाइन के जरिए भी संवाद स्थापित रखा जाए। उन्होंने स्वच्छता तथा सेनिटाइजेशन के कार्यों को लगातार जारी रखने के निर्देश भी दिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सर्विलांस कार्यों की निरन्तर माॅनिटरिंग की जाए। यह कार्य अत्यन्त महत्वपूर्ण है, इसलिए सुनिश्चित किया जाए कि सर्विलांस गतिविधियों में किसी भी स्तर पर लापरवाही न होने पाए। उन्होंने कोविड अस्पतालों की व्यवस्थाओं को चुस्त-दुरुस्त बनाए रखने के निर्देश देते हुए कहा कि कोविड चिकित्सालयों में दवाओं तथा ऑक्सीजन की बैकअप सहित पर्याप्त उपलब्धता बनाए रखी जाए। कोविड चिकित्सालयों में आवश्यकतानुसार अतिरिक्त मैनपावर की व्यवस्था की जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 01 अक्टूबर से प्रदेश में न्यूतनम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के तहत धान की खरीद प्रारम्भ होगी। धान क्रय केन्द्रों पर सभी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं, ताकि किसानों को कोई असुविधा न हो। उन्होंने कहा कि गो आश्रय स्थलों की व्यवस्थाएं बेहतर बनाई जाएं। ग्राम पंचायतों में सामुदायिक शौचालय तथा ग्राम सचिवालय का कार्य युद्ध स्तर पर किया जाए।