बीते दिन सुप्रीम कोर्ट से आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल को मिली जमानत ने सियासत गलियारों का माहौल खासा गर्म कर दिया है। दरअसल, उनकी इस जमानत को लेकर भाजपा हमलावर दिख रही है। तो विपक्ष केजरीवाल के समर्थन में खड़ा नजर आ रहा है।
अभी बीते दिन जहां सपा मुखिया अखिलेश यादव ने केजरीवाल के समर्थन में आते हुए उनको मिली जमानत को संविधान की जीत बताया था। वहीं अब शिवसेना सेना आदित्य ठाकरे ने भी अखिलेश के सुर से सुर मिलाते हुए केजरीवाल को मिली जमानत का स्वागत किया है।
एक्स पर एक पोस्ट में आदित्य ठाकरे ने शुक्रवार को कहा कि राजनीति पर सत्य की जीत होती है। उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल जी को बाहर निकलते हुए और फिर से लोकतंत्र और संविधान के लिए लड़ने के लिए तैयार देखकर खुशी हुई। इसके अलावा ठाकरे ने भाजपा पर निशाना साधते हुए हमला भी किया।
ठाकरे ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में विद्रोह का जिक्र करते हुए पोस्ट में कहा कि एक तरफ कायर गद्दार हैं जो अपने ही लोगों को धोखा देकर भाग जाते हैं और दूसरी तरफ अरविंद जी जैसे लोग हैं जो सच्चाई के लिए लड़ना चुनते हैं! सत्यमेव जयते!
शिंदे ने जून 2022 में उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार को गिरा दिया और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के समर्थन से मुख्यमंत्री बन गए। पिछले साल जुलाई में अजित पवार के नेतृत्व वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) भी उनकी सरकार में शामिल हो गई।
केजरीवाल शुक्रवार को तिहाड़ जेल से बाहर आए। इससे कुछ घंटे पहले ही उच्चतम न्यायालय ने कथित आबकारी नीति घोटाले से जुड़े सीबीआई मामले में उन्हें जमानत दे दी थी। न्यायालय ने कहा था कि लंबे समय तक जेल में रखना “स्वतंत्रता से अन्यायपूर्ण वंचना” के समान है।
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केजरीवाल को इसी मामले में 21 मार्च को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गिरफ्तार किया था और बाद में भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच कर रही केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने भी उन्हें गिरफ्तार किया था। वे 155 दिन जेल में बिताने के बाद बाहर आए।