गुलाम कश्मीर (पीओके) में इमरान सरकार के खिलाफ बगावत बढ़ती जा रही है. अब यह बगावत दबे-छुपे नहीं बल्कि जाहिरा तौर पर सरेआम हो रही है. गुलाम कश्मीर में आम आदमी का इस तरह पाकिस्तान सरकार के खिलाफ सड़कों पर आने से इमरान खान और पाक आर्मी चीफ कमर जावेद बाजवा को पसीना आने लगा है.
दरअसल, पाकिस्तान सरकार चीन के साथ मिल कर कई प्रोजेक्ट्स पर काम कर रही है. गुलाम कश्मीर (पीओके) के लोगों का कहना है कि चीनी कंपनियां अपने हितों के लिए स्थानीय लोगों के हितों की उपेक्षा कर रही हैं और पाकिस्तान सरकार ने पैसों के लालच में चीन के हाथों उनकी जमीनों को बेच रही है.
दरअसल, गुलामकश्मीर (पीओके) के मुजफ्फराबाद में लोग चीन-पाकिस्तान के द्वारा मिलकर बनाए जा रहे एक डैम प्रोजेक्ट का विरोध कर रहे हैं. मुजफ्फराबाद में झेलम और नीलम नदी के पास पाक सरकार चीन की मदद से एक डैम बना रही है.
मुजफ्फराबाद के निवासियों का कहना है कि इस डैम के बारे में उन्हें कोई जानकारी नहीं है, न ही उनसे सलाह ली गयी है. गुलाम कश्मीर (पीओके) के निवासियों ने आरोप लगाया कि पाक सरकार ने सिर्फ पैसे के लिए चीन के साथ यह डैम बनाने का सौदा किया है. लोगों ने कहा, इस प्रोजेक्ट से स्थानीय लोगों को कोई फायदा नहीं है और न ही उनकी सलाह ली गई है
गुलामकश्मीर (पीओके) में पाकिस्तान और चीन के खिलाफ पिछले काफी समय से आवाज़ बुलंद हो रही है. इससे पहले भी पाक अधिकृत कश्मीर के लोग चीन की तरफ से बनाए जा रहे वन बेल्ट वन रोड प्रोजेक्ट का विरोध करते आए हैं. कोरोना संकट के बाद चीन जिस तरह दुनिया में अलग-थलग पड़ा है और उसके बाद भारत से साथ संघर्ष ने कई बड़े देशों को उसके खिलाफ कर दिया है. इससे पाकिस्तान में भी खलबली मची हुई है.
पाकिस्तान के विदेश विभाग ने प्रधानमंत्री इमरान खान को एक रिपोर्ट सौंपी है, जिसमें पाकिस्तान की चीन नीति पर दोबारा विचार करने को कहा है. पाकिस्तान काफी समय से चीन से कर्ज लेता रहा है जिसकी वजह से चीन अब पाकिस्तान में हर जगह पहुंच चुका है. कराची के ग्वादर पोर्ट पर अब पूरी तरह से चीन का ही कब्जा है.