कांग्रेस पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने देश की राजधानी नई दिल्ली में मीडिया से बातचीत की। ‘भारत जोड़ो यात्रा’ पर मीडिया से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि यह यात्रा हिंदुस्तान की आवाज है। विपक्ष के सारे नेता हमारे साथ खड़े हैं। ये हम सभी को मालूम है लेकिन सियासी मजबूरियों की वजह से कुछ लोग नहीं आ रहे हैं उसपर कुछ नहीं कहना चाहता।
राहुल गांधी ने कहा कि विचारधारा में समानताएं होती हैं। नफरत और हिंसा में समानता नहीं होती है। अखिलेश (Akhilesh Yadav) और मायावती (Mayawati) हिंसा नहीं चाहते हैं। उनके साथ हमारे रिश्ता है हिंदुस्तान को जोड़ने का रिश्ता है। विचारधारा का रिश्ता है। राहुल गांधी ने कहा कि ‘भारत जोड़ो यात्रा’ में कोई भी आ सकता है. हम किसी को भी अपने साथ आने से नहीं रोक रहे हैं। अखिलेश यादव, मायावती और अन्य विपक्षी नेता भी ‘मोहब्बत का हिंदुस्तान’ चाहते हैं और हमारे भी विचारधारा का संबंध है।
इस दौरान राहुल गांधी ने यह भी कहा कि वो RSS को अपना गुरु मानते हैं क्योंकि ये उन्हें रास्ता दिखाते हैं कि क्या नहीं करना चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकार ने बहुत सारी गलतियां की हैं। हम हिंदुस्तान को सोचने का और जीने का नया तरीका देना चाहते हैं। राहुल गांधी ने कहा, “मैं चाहता हूं कि वो मुझपर आक्रामक होकर प्रहार करें, इससे कांग्रेस पार्टी को अपनी विचारधारा समझने में मदद मिलेगी। मैं उन्हें अपना गुरु मानता हूं, वो मुझे रास्ता दिखा रहे हैं और मुझे ट्रेन कर रहे हैं कि क्या नहीं करना चाहिए।”
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राहुल गांधी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की शुरुआत में कहा, “मैंने जब यह यात्रा शुरू की तो मैंने इसे सिर्फ कन्याकुमारी से लेकर कश्मीर तक आम यात्रा की तरह लिया। धीरे-धीरे हमने यह समझा कि इस यात्रा की एक आवाज और भावना है। मैं बीजेपी और RSS के लोगों को धन्यवाद करना चाहता हूं क्योंकि वो जितना ज्यादा हमें टारगेट करेंगे, हमें उतनी ज्यादा मजबूती मिलेगी।”