राहुल गांधी ने मंगलवार को घोषणा की कि वे देश में आरक्षण की 50 प्रतिशत सीमा को बदल देंगे। गांधी तेलंगाना में एक बैठक में बोल रहे थे, जो कर्नाटक के बाद जाति जनगणना करने वाला दूसरा कांग्रेस शासित राज्य बन रहा है। राज्य में कांग्रेस पार्टी की राज्य इकाई द्वारा आयोजित बैठक में उनके साथ कांग्रेस प्रमुख मल्लिकार्जुन खड़गे भी थे।
बैठक के दौरान उन्होंने कहा कि भारत में जातिगत भेदभाव अद्वितीय है, जो संभवतः दुनिया में सबसे खराब है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस 50 प्रतिशत आरक्षण की कृत्रिम बाधा को ध्वस्त कर देगी।
राहुल गांधी ने आगे कहा कि जाति जनगणना भेदभाव की सीमा और प्रकृति का आकलन करने के लिए की जाने वाली पहली प्रक्रिया है। इसलिए, मैं यह सुनिश्चित करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हूं कि न केवल तेलंगाना में जाति जनगणना हो, बल्कि तेलंगाना देश में जाति जनगणना के लिए एक मॉडल बने।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते हुए गांधी ने कहा कि प्रधानमंत्री यह पूछने से क्यों डरते हैं कि कॉरपोरेट, न्यायपालिका, मीडिया में कितने दलित, ओबीसी, आदिवासी हैं।
जाति जनगणना पर वाकयुद्ध
देश की सबसे पुरानी पार्टी ने बार-बार यह संकल्प दोहराया है कि अगर वह सत्ता में आई तो जाति जनगणना कराएगी। सबसे पहले उसने कर्नाटक में जाति जनगणना कराई और अब बुधवार से तेलंगाना में भी इसी तरह की जनगणना कराई जाएगी।
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हालांकि, सत्तारूढ़ भाजपा ने जाति जनगणना का विरोध करते हुए कहा है कि इससे समाज में विभाजन पैदा होगा। चुनावी रैलियों में पीएम मोदी ने अक्सर कहा है कि कांग्रेस हिंदू समाज को बांटने पर तुली हुई है और जाति जनगणना एक विभाजनकारी साजिश है।