उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी में हुई हिंसक घटना को लेकर सरकार पर पहले से ही सवालिया निशान लग रहे थे। वहीं, अब इस घटना का वीडियो सामने आने के बाद सरकार की मुश्किलें और बढ़ गई हैं। दरअसल, इस वीडियो के सामने आने के बाद विपक्ष के हमले तो तेज हुए ही हैं। बीजेपी के सहयोगी दलों ने भी हमला बोलना शुरू कर दिया है। इसी कड़ी में महाराष्ट्र की सत्तारूढ़ महाअघाड़ी गठबंधन सरकार की घटक एनसीपी के अध्यक्ष शरद पवार और जेडीयू नेता केसी त्यागी ने भी सरकार के खिलाफ आग उगला है
पवार और त्यागी हुए हमलावर
दरअसल, शरद पवार ने लखीमपुर-खीरी हिंसा की तुलना अंग्रेजों के शासनकाल में हुए जलियांवाला कांड से की है, तो वहीं केसी त्यागी ने भी इसे ब्रिटिश काल की याद दिलाने वाली घटना बताया है।
एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने कहा कि जलियांवाला बाग में जैसी स्थिति थी, वैसी ही आज यूपी में हो गई है। किसान ये भूलेगा नहीं। केंद्र सरकार को असंतोष का सामना करना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि बीजेपी सरकार के काफिले ने किसानों की हत्या की है। किसानों की हत्या के लिए यूपी सरकार और केंद्र सरकार जिम्मेदार है। शरद पवार ने इस घटना की जांच सुप्रीम कोर्ट के सिटिंग जज की कमेटी से करवाने की मांग की है। उन्होंने इस घटना को सत्ता का दुरुपयोग बताया है।
वहीं जेडीयू नेता केसी त्यागी ने सरकार को घेरते हुए कहा, ‘जो वीडियो वायरल हो रहा है वो ब्रिटिश काल की याद दिलाता है। जब कानून व्यवस्था सिर्फ नाम मात्र की थी। केरल में जब पहली बार सोशलिस्ट सरकार बनी थी तब मजदूर आंदोलन में गोली चली थी तब जेपी ने मुख्यमंत्री का इस्तीफा मांग लिया था। उन्होंने कहा कि मंत्री और उनके बेटे के खिलाफ FIR दर्ज हुई है। मैं उम्मीद करता हूं कि जांच सही होगी। किसान संगठन चाहते थे कि राकेश टिकैत वहां आएं और प्रशासन से बात करें। उन्होंने कहा कि किसान संगठन नहीं चाहते थे कि एसपी, बीएसपी या कांग्रेस के नेता यहां आकर इसे चुनावी रंगमंच बना दें।
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आपको बता दें कि लखीमपुर हिंसा का एक वीडियो सामने आया है, जिसमें एक गाडी प्रदर्शन कर रहे किसानों को कुचलती नजर आ रही है।