उदयपुर चैम्बर ऑफ काॅमर्स एण्ड इण्डस्ट्री ने आगामी वित्तीय वर्ष 2021-2022 के लिए वित्तमंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण को सुझाव प्रेषित किए गए हैं।
यूसीसीआई की फायनेन्स एवं टैक्सेशन सब कमेटी के चेयरमैन सीए डाॅ. सतीषचन्द्र जैन की अध्यक्षता में उद्योग एवं व्यवसाय जगत को प्रोत्साहन प्रदान करने के लिए केन्द्र सरकार द्वारा सकारात्मक आर्थिक बजट तैयार किए जाने के लिए प्रतिवेदन तैयार किया गया।
यूसीसीआई के अध्यक्ष कोमल कोठारी ने यूसीसीआई की ओर से भेजे गए प्रतिवेदन में इनपुट टैक्स क्रेडिट पर से प्रतिबन्धों को हटाने, जीएसटी में लेट रिटर्न फायलिंग पर विलम्ब शुल्क में कमी करने, स्किल डेवलपमेन्ट के लिए निवेश एवं व्यय राशि पर आयकर में छूट प्रदान करने, स्वास्थ्य बीमा की योजना पर कर राहत प्रदान करने सम्बन्धी सुझाव प्रेषित किए गए हैं। टैक्स का आधार बढ़ाकर टैक्स की दर को कम किए जाने का सुझाव भी दिया गया है।
मार्बल, ग्रेनाइट एवं अन्य डाइमेंशनल स्टोन पर जीएसटी की दर 18 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत किए जाने का सुझाव दिया है। इसके साथ ही आयातित मार्बल का एक निश्चित कोटा निर्धारित किए जाने का सुझाव दिया हैं जिससे घरेलू बाजार में मार्बल की गिरती कीमत पर अंकुश लगाया जा सके।
ऑटोमोबाइल क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए वाइकल स्क्रैप पाॅलिसी लागू करने तथा जीएसटी की दर को 28 प्रतिशत से घटाकर 18 प्रतिशत किए जाने का सुझाव दिया गया है।
कोरोना महामारी के कारण वित्तीय संकट से गुजर रहे एमएसएमई सेक्टर को आयकर एवं जीएसटी के साथ ही ऋण सहायता मुहैया कराये जाने का सुझाव दिया गया है।
कोरोना से सर्वाधिक प्रभावित पर्यटन एवं होटल व्यवसाय को पुनः पटरी पर लाने के लिए राहत योजना लागू किए जाने का भी सुझाव दिया गया है।
विभिन्न उत्पादों एवं सेवाओं पर कई प्रकार की जीएसटी दरों को हटाकर मुख्य रूप से तीन दरें ही लागू किए जाने का सुझाव दिया गया है, जिससे कर विवादों की संख्या में कमी लाई जा सके।
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इसी प्रकार जीएसटी को लेकर राज्य एवं केन्द्र सरकारों के जीएसटी विभाग के अधिकारियों को अपने अधिकार क्षेत्र की अनुपालना के लिए पाबंद किये जाने का सुझाव दिया गया है।
जीएसटी संबंधी विभिन्न विसंगतियों तथा निर्यातकों को जीएसटी को लेकर आ रही तकनीकी परेशानियों के संदर्भ में भी कई सुझाव दिये गए हैं।