नयी दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय ने पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी के भतीजे भूपिंदर सिंह उर्फ हनी को 2018 के अवैध रेत खनन मामले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों के सिलसिले में शुक्रवार को जालंधर से गिरफ्तार किया। भूपिंदर सिंह की गिरफ्तारी पंजाब में फरवरी 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव के से करीब दो हफ्ते पहले हुई है। ईडी ने पंजाब में अवैध रेत खनन कार्यों के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग रोधी जांच में 19 जनवरी को किए गए छापे के दौरान कथित तौर पर 10 करोड़ रुपये नकद जब्त किए थे। कथित तौर पर जब्ती में भूपिंदर सिंह से जुड़े परिसर से 8 करोड़ रुपये शामिल हैं।
ईडी के अधिकारियों ने तब कहा था कि नवांशहर पुलिस की 2018 की प्राथमिकी और राज्य में अवैध रेत खनन में शामिल कंपनियों और व्यक्तियों के खिलाफ कुछ अन्य पुलिस शिकायतों पर संज्ञान लेने के बाद कार्रवाई शुरू की गई थी।
अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि हनी को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत बृहस्पतिवार को देर रात गिरफ्तार किया गया। हनी, चन्नी की पत्नी की बहन के बेटे हैं। एजेंसी ने 18 जनवरी को उनके परिसरों पर छापा मारा था और करीब आठ करोड़ रुपये नकद जब्त करने का दावा किया था। पंजाब में विधानसभा चुनाव के लिए 20 फरवरी को मतदान होना है।
छापेमारी के बाद, चन्नी ने भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर पंजाब चुनाव 2022 से पहले मामले में उन्हें “फँसाने” के लिए “साजिश” रचने का आरोप लगाया था।सीएम ने जनवरी में फिरोजपुर की अपनी यात्रा के दौरान एक निर्धारित कार्यक्रम में शामिल हुए बिना और एक रैली को संबोधित किए बिना प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की वापसी पर “बदला” लेने की कोशिश करने के लिए भी भाजपा पर निशाना साधा था।
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चन्नी ने ईडी के छापे को “प्रतिशोध की राजनीति” करार दिया था और दावा किया था कि उनके भतीजे को भी मामले में दर्ज नहीं किया गया था। चन्नी के भतीजे की गिरफ्तारी से पंजाब में विपक्षी दलों को और अधिक गोला-बारूद मिलने की संभावना है, जिन्होंने सत्तारूढ़ कांग्रेस और चन्नी पर सीएम के निर्वाचन क्षेत्र चमकौर साहिब में अवैध रेत खनन पर आंखें मूंद लेने का आरोप लगाया है।