दिल्ली में उप राज्यपाल और मुख्यमंत्री के बीच जंग रुकने का नाम नहीं ले रही है। अब दिल्ली एलजी विनय कुमार सक्सेना (Delhi LG Vinai Kumar Saxena) ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (Delhi CM Arvind Kejriwal) को चिट्ठी लिखा है। अपने पत्र में एलजी ने सरकार पर कई आरोप लगाए हैं। एलजी ने अपने पत्र में कहा कि पिछले कुछ सालों में सरकारी स्कूलों में छात्रों की उपस्थिति कम हुई है।
एक नागरिक होने के नाते लोगों के मुद्दे उठा रहा हूं- दिल्ली एलजी
एलजी ने अपने पत्र में कहा कि मैं एक नागरिक होने के नाते लोगों के मुद्दे उठा रहा हूं। उन्होंने कहा कि पिछले आठ सालों में दिल्ली में एक भी स्कूल नहीं बना। अपने पत्र में सक्सेना ने कहा कि उन्होंने अरविंद केजरीवाल और उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को मिलने के लिए आमंत्रित किया था। उन्होंने लिखा, “आपने अपने सभी विधायकों के साथ मुझसे मिलने के बहाने नहीं आने का फैसला किया। आप इस बात की सराहना करेंगे कि आपकी ओर से अल्प सूचना और अचानक मांग को देखते हुए एक बार में 70-80 लोगों के साथ बैठक करना संभव नहीं होता और न ही इससे कोई ठोस उद्देश्य पूरा होता।”
एलजी ने राष्ट्रीय राजधानी के सरकारी स्कूलों में कथित रूप से कम उपस्थिति को लेकर भी अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि दिल्ली के सरकारी स्कूलों में छात्रों की उपस्थिति 2012-2013 में 70.73% से गिरकर 2019-2020 में 60.65% हो गई। बता दें कि बुधवार को विरोध प्रदर्शन के दौरान बीजेपी विधायक काले लिबास में विधानसभा पहुंचे थे।
दिल्ली एलजी ने कहा कि अरविंद केजरीवाल के दावों के विपरीत दिल्ली में निजी स्कूलों में जाने वाले छात्रों की संख्या में वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा, “2013-2014 में निजी स्कूलों में छात्रों की हिस्सेदारी 35% थी, वही 2019-2020 में 43% हो गई। महामारी संकट के कारण निजी स्कूलों से सरकारी स्कूलों में पलायन के बावजूद यह संख्या अभी भी लगभग 40% है।”
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विधानसभा में केजरीवाल द्वारा एलजी का जिक्र करते हुए कहा गया था कि उपराज्यपाल कौन है और वह कहां से आए। इसका जवाब देते हुए एलजी ने पत्र में लिखा, “अगर आप भारत के संविधान के देख लें तो इन सवालों का जवाब देने की जरूरत नहीं है, क्योंकि वे स्पष्ट रूप से बहुत निम्न स्तर की चर्चा है। दिल्ली के मुख्यमंत्री को उनको हेडमास्टर कहने पर उन्होंने कहा कि मैं हेडमास्टर के रूप में कार्य नहीं कर रहा हूं। मैं लोगों की आवाज के रूप में काम कर रहा हूं।”