लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने बुधवार को स्पीकर ओम बिरला से मुलाकात की और उनसे भाजपा सांसदों द्वारा उनके खिलाफ लगाए गए आरोपों को हटाने का आग्रह किया। राहुल गांधी ने सरकार में अक्षमता का आरोप लगाया और भाजपा पर अडानी विवाद से ध्यान हटाने के लिए निराधार आरोप लगाने का आरोप लगाया।
संसद के बाहर पत्रकारों से बातचीत करते हुए राहुल गांधी ने दिया बयान
संसद के बाहर पत्रकारों से बात करते हुए राहुल गांधी ने सत्ताधारी पार्टी द्वारा उकसावे के बावजूद सरकार के सुचारू संचालन को सुनिश्चित करने के लिए अपनी पार्टी के संकल्प पर जोर दिया।
मैंने स्पीकर से मुलाकात की और उनसे कहा कि हमारी पार्टी कह रही है कि मेरे खिलाफ अपमानजनक टिप्पणियों को हटाया जाए। स्पीकर ने कहा कि वह उनकी जांच करेंगे। वे (भाजपा) सभी तरह के निराधार आरोप लगाते रहते हैं, लेकिन हमने फैसला किया है कि हम चाहते हैं कि सदन चले।
संविधान पर बहस का आह्वान
राहुल गांधी ने 13 दिसंबर से लोकसभा में संविधान पर बहस कराने की अपनी पार्टी की इच्छा पर जोर दिया। उन्होंने जोर देकर कहा कि हालांकि कांग्रेस सरकार चलाने के लिए जिम्मेदार नहीं है, लेकिन इससे उनकी पार्टी प्रमुख मुद्दों को संबोधित करने में अधिक कुशल हो जाएगी।
राहुल गांधी ने कहा कि वे जो भी उकसावे करेंगे, हम उन्हें करने देंगे। लेकिन हम सदन चलाने की कोशिश करेंगे। हम चाहते हैं कि किसी तरह सदन चले। हम चाहते हैं कि इस पर बहस और चर्चा हो। हम चाहते हैं कि 13 दिसंबर को संविधान पर बहस हो।
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे के खिलाफ शिकायतें
इससे पहले, लोकसभा में कांग्रेस के उपनेता गौरव गोगोई ने स्पीकर ओम बिरला को पत्र लिखकर भाजपा सांसद निशिकांत दुबे द्वारा की गई अपमानजनक टिप्पणियों को सरकारी रिकॉर्ड से हटाने के लिए कहा। गोगोई ने कहा कि इस मुद्दे पर स्पीकर के फैसले के बाद कांग्रेस शीतकालीन सत्र में विधानमंडल में भाग लेने की इच्छुक है।
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भाजपा के आरोप और गांधी का जवाब
जब कांग्रेस नेतृत्व को अमेरिकी अरबपति निवेशक जॉर्ज सोरोस से जोड़ने के भाजपा के दावों के बारे में पूछा गया, तो राहुल गांधी ने आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि उन्हें जितने आरोप लगाने हैं लगाने दें। हम फिर भी सदन को चलने देंगे। सदन चलाना हमारी जिम्मेदारी नहीं है, लेकिन हम यह सुनिश्चित करेंगे कि यह चले।