लखनऊ । उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जनपद गोरखपुर में जनप्रतिनिधियों व अधिकारियों के साथ एनेक्सी भवन सभागार में विकास कार्यो एवं कानून व्यवस्था की समीक्षा की तथा लोक निर्माण विभाग, सिंचाई विभाग, नगर निगम, जल निगम, जीडीए, गीडा समेत विभिन्न विभागों की परियोजनाओं की अद्यतन प्रगति की जानकारी ली।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि प्रत्येक प्रोजेक्ट के लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त करते हुए उनसे साप्ताहिक प्रगति की रिपोर्ट ली जाए। वरिष्ठ अधिकारी प्रत्येक प्रोजेक्ट की 15 दिन पर समीक्षा करें, साथ ही परियोजनाओं की प्रगति को लेकर माह में एक बार जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक की जाए। उन्होंने कहा कि प्रत्येक परियोजना को निर्धारित समयावधि में गुणवत्तापूर्ण तरीके से पूर्ण किया जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन विकास परियोजनाओं के लिए जमीनों का अधिग्रहण किया गया है, वहां जमीनों की रजिस्ट्री में तेजी लायी जाए और मुआवजा वितरण भी जल्द से जल्द किया जाए। इसमें किसी भी तरह की शिथिलता अक्षम्य होगी। उन्होंने कहा कि निर्माण कार्य को समयबद्ध एवं गुणवत्ता के साथ पूरा करने के लिए एक नोडल अधिकारी को पर्यवेक्षण की जिम्मेदारी सौंपी जाए।
नोडल अधिकारी हर सप्ताह की प्रगति की जानकारी वरिष्ठ अधिकारियों को उपलब्ध कराए। सभी परियोजनाओं की निगरानी करने के लिए जनप्रतिनिधियों की भागीदारी भी होनी चाहिए। अधिकारी प्रत्येक माह जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक कर उन्हें विकास कार्यों की प्रगति से अवगत कराए, उनसे मिलने वाले सुझावों पर भी ध्यान दें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बरसात का समय सन्निकट है। ऐसे में यह सुनिश्चित करना होगा कि बरसात होने पर कहीं भी जलभराव न होने पाए। जलभराव की समस्या को दूर करने के लिए पिछले कुछ वर्षों में काफी अच्छा काम हुआ है, इसे लगातार उत्कृष्टता की ओर ले जाने की आवश्यकता है। समय रहते सभी नालों की सफाई का काम पूरा करने का निर्देश देने के साथ ही मुख्यमंत्री ने कहा कि जलभराव की समस्या को दूर करने के लिए गोड़धोइया नाला परियोजना पर सतत ध्यान दिया जाए।
मुख्यमंत्री ने निर्देशित किया कि बाढ़ बचाव की परियोजनाओं के कार्यों में और तेजी लाते हुए 15 दिनों में उनको पूरा किया जाय। अधिकारी, जनप्रतिनिधियों को साथ ले जाकर बंधों की स्थिति का जायजा लें। बेहतर कार्य के लिए उनसे सुझाव भी लें। उन्होंने कहा कि समन्वित प्रयासों से जापानी इंसेफेलाइटिस (जेई) और एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम (एईएस) पर नियंत्रण प्राप्त कर लिया गया है। आगामी मानसून के दौरान भी इन बीमारियों पर नियंत्रण रखा जाए।
मुख्यमंत्री ने एकला बांध प्रोजेक्ट की भी समीक्षा की और यहां मियावाकी वन विकसित करने पर जोर दिया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि पेयजल, स्वच्छता और अन्य नागरिक सुविधाओं पर संवेदनशीलता से ध्यान दें। शहरों और गांवों में निर्बाध बिजली आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। नागरिकों की समस्याओं के निस्तारण के लिए अधिकारी जनता दर्शन में नियमित और संवेदनशील ढंग से सुनवाई करें।
आईजीआरएस पर आने वाली शिकायतों का निस्तारण करने के साथ शिकायतकर्ता से फीडबैक भी लें। इस दौरान उन्होंने यह चेतावनी भी दी कि नागरिकों की समस्याओं के निस्तारण में शिथिल अधिकारियों को चिन्हित कर उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
मुख्यमंत्री ने बैठक में कहा कि निवेश अनुकूल माहौल में अधिकारियों की यह जिम्मेदारी है कि वे उद्यमियों के साथ बैठक कर उनकी समस्याओं का समाधान करें। उन्होंने अधिक से अधिक युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए हर माह रोजगार मेले का आयोजन करने के निर्देश भी दिए।
मुख्यमंत्री ने कानून व्यवस्था की समीक्षा करते हुए कहा कि अपराध और अपराधियों के प्रति जीरो टॉलरेंस नीति बरकरार रहनी चाहिए। माफिया के खिलाफ सख्त कार्रवाई करें। उन्होंने पुलिस पैट्रोलिंग और फुट पैट्रोलिंग बढ़ाने और पीआरवी का रिस्पांस टाइम और उत्कृष्ट करने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने ट्रैफिक प्रबंधन को और सुदृढ़ करने पर जोर देते हुए कहा कि यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि सड़कों पर गाड़ियां न खड़ी रहें। सभी वाहन तय पार्किंग स्थल पर ही खड़े हों। टेम्पो को भी उनके लिए निर्धारित स्टैंड पर ही खड़ा कराया जाए। उन्होंने यातायात व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए सिविल डिफेंस का सहयोग लेने के निर्देश दिए।इस अवसर पर जनप्रतिनिधिगण तथा शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।