राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की विधानसभा में किरकिरी हो गई है. उन्होंने शुक्रवार को विधानसभा में बड़ी गलती कर दी. विपक्ष का आरोप है कि सीएम गहलोत ने पुराने साल का बजट पढ़ा है, जिस पर मंत्री महेश जोशी ने उनको टोका. इसे लेकर विपक्ष को बैठे बिठाये एक नया मुद्दा मिल गया है. गहलोत के पुराने बजट पढ़ने को लेकर विपक्ष ने विधानसभा में जमकर नारेबाजी और हंगामा किया है. इसके बाद सदन की कार्यवाही कुछ देर के लिए स्थगित कर दी गई.
विधानसभा के इतिहास में पहली बार बड़ी चूक हुई है. विपक्ष ने आरोप लगाया है कि सीएम अशोक गहलोत (CM Ashok Gehlot) ने पुराना बजट भाषण पढ़ा. इस दौरान वे तीन-चार योजनाएं भी गिना चुके थे. उन्होंने इंदिरा गांधी शहरी रोजगार गारंटी योजना से जुड़ी पुरानी लाइनें भी पढ़ी. इस पर महेश जोशी ने सीएम अशोक गहलोत को बीच में ही टोकते हुए उन्हें बजट भाषण की नवीन कॉपी लाकर दी. उनका कहना है कि पेज पढ़ने से छूटने के कारण यह गलफहमी हुई. इसके बाद विपक्ष ने विधानसभा में ही हंगामा शुरू कर दिया.
इसे लेकर पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने आरोप लगाया है कि सीएम 8 मिनट तक पुराना बजट पढ़ते रहें. ये कैसा राज है ना सुराज है यह तो कुराज है. बजट में चूक को लेकर सीएम गहलोत (CM Ashok Gehlot) काफी गंभीर हैं. उन्होंने मुख्य सचिव उषा शर्मा को तलब किया. इस लापरवाही को लेकर अधिकारियों पर गाज गिर सकती है.
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सीपी जोशी ने कहा कि जो कुछ हुआ वह मानवीय भूल है. गुलाबचंद कटारिया ने वेल में खड़े होकर बजट लिक होने का आरोप लगाया. कटारिया ने कहा कि बाहर के व्यक्ति के पास कैसे बजट की कॉपी पहुंची. बजट को दोबारा पेश करने का राज्यपाल से समय लिया जाए. उन्होंने बजट सत्र को स्थगित करने की मांग की है.