उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव 2022 का परिणाम आने के बाद अब जीत दर्ज करने वाले सभी दल विधायकों का नेता चुनने की प्रक्रिया भी प्रारंभ कर रहे हैं। उत्तर प्रदेश में प्रमुख विपक्षी दल समाजवादी पार्टी ने अपने विधायकों की बैठक की तिथि को आगे बढ़ा दिया है। समाजवादी पार्टी के विधायक दल की 21 मार्च को होने वाली बैठक अब 26 को होगी। माना जा रहा है कि समाजवादी पार्टी ने उत्तर प्रदेश सरकार के शपथ ग्रहण समारोह के कारण विधायक दल की बैठक का कार्यक्रम आगे बढ़ाया है। पहले मंत्रिमंडल की शपथ 21 मार्च को होनी थी, जो अब 25 मार्च को होगी।
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में छोटे दलों के साथ मिलकर चुनाव के मैदान में उतरी समाजवादी पार्टी को 111 तथा गठबंधन को 125 सीट मिली हैं। अब समाजवादी पार्टी का लक्ष्य मजबूत विपक्षी दल बनने का है। समाजवादी पार्टी इसी को लेकर अपने विधायक दल के नेता का चुनाव करने के लिए बैठक बुला रही है। समाजवादी पार्टी के विधायक दल की बैठक अब 26 मार्च को पार्टी के प्रदेश कार्यालय में होगी।
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के नेतृत्व में 26 मार्च को पार्टी के विधायक दल की बैठक होगी। माना जा रहा है कि अखिलेश यादव लोकसभा की आजमगढ़ की सीट को बरकरार रखेंगे। वह मैनपुरी की करहल विधानसभा से पहली बार विधायक होने के बाद भी वहां की सीट को छोड़ देंगे। समाजवादी पार्टी के विधायक दल के नेता राम गोविंद चौधरी के चुनाव हारने के बाद विधानसभा मे नेता विरोधी दल की जगह खाली हो गई है। राम गोविंद चौधरी बलिया के बांसडीह से विधायक का चुनाव हार गए हैं।
राम गोविंद चौधरी के चुनाव हारने के बाद खाली पद पर समाजवादी पार्टी अब 26 मार्च को विधायक दल का नेता चुनेगी। इसके लिए समाजवादी पार्टी के सभी नवनिर्वाचित विधायकों की पहली बैठक 26 मार्च को होगी। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव की उपस्थिति में होने वाली इस बैठक में विधायक दल का नेता चुना जाएगा। पहले यह बैठक 21 को प्रस्तावित थी। सपा विधायक दल के नेता के पद की दौड़ में शिवपाल सिंह यादव सबसे आगे हैं। इनके साथ आजम खां, माता प्रसाद पाण्डेय, दुर्गा प्रसाद यादव, अवधेश प्रसाद, इकबाल महमूद, लालजी वर्मा, राम अचल राजभर तथा फरीद महफूद किदवई के नाम पर विचार हो सकता है। समाजवादी पार्टी 26 मार्च को विधायक दल की बैठक के साथ ही एमएलसी चुनाव और पार्टी की भविष्य की रणनीति भी तय कर सकती है।