दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली दंगा मामले में आरोपी और आम आदमी पार्टी के पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन की एक मामले में जमानत याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी किया है। जस्टिस मुक्ता गुप्ता ने दिल्ली पुलिस को 6 अगस्त तक जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है।
ताहिर हुसैन के मामले में अदालत ने लिया बड़ा फैसला
जस्टिस मुक्ता गुप्ता ने कहा कि ये जमानत याचिका जस्टिस योगेश खन्ना की बेंच के समक्ष लिस्ट की जाए क्योंकि ताहिर हुसैन से संबंधित कई मामले उसी बेंच के समक्ष लंबित हैं। दरअसल सुनवाई के दौरान ताहिर की ओर से पेश वकील मोहित माथुर ने कहा कि जस्टिस योगेश खन्ना की बेंच के समक्ष ताहिर हुसैन से संबंधित दो एफआईआर के मामले पहले से लंबित हैं। जस्टिस योगेश खन्ना के समक्ष एफआईआर नंबर 91 और 92 से संबंधित जमानत याचिका लंबित हैं। इसलिए इस याचिका पर भी सुनवाई उसी बेंच द्वारा की जानी चाहिए। ये याचिका एफआईआर नंबर 80 से संबंधित है।
पिछले 14 जुलाई को एफआईआर नंबर 91 और 92 से संबंधित जमानत याचिकाओं पर जस्टिस योगेश खन्ना की बेंच ने दिल्ली पुलिस को नोटिस जारी किया था। उन दोनों पर भी सुनवाई 6 अगस्त को होगी।
जमानत याचिकाएं उन दो एफआईआर से संबंधित है जिसमें एक ट्रॉमा सेंटर से पुलिस को सूचना मिली कि अजय कुमार झा और प्रिंस बंसल घायल हैं। बता दें कि कड़कड़डूमा कोर्ट ने पिछले मई में ताहिर हुसैन की दोनों मामलों में जमानत याचिका खारिज कर दी थी। कोर्ट ने कहा था कि ताहिर हुसैन ने अपने राजनीतिक रसूख का इस्तेमाल कर इस हिंसा को सुनियोजित तरीके से अंजाम दिया।
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ताहिर की जमानत याचिकाओं में कहा गया है कि कि उसे झूठे मामले में फंसाया गया है। ताहिर हुसैन को दिल्ली पुलिस और राजनीतिक विरोधियों ने प्रताड़ित करने के मकसद से केस दर्ज किया है। वह परिस्थितियों का शिकार है। ताहिर 16 मार्च 2020 से न्यायिक हिरासत में है। दिल्ली पुलिस ने ताहिर हुसैन के खिलाफ यूएपीए के तहत दर्ज एफआईआर समेत कुल 11 एफआईआर दर्ज किए हैं।