भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता अश्विनी उपाध्याय ने कहा कि समाजवादी पार्टी (सपा) ने कैराना से एक गैंगस्टर को चुनाव मैदान में उतारा है। इसके लिए चुनाव आयोग को सपा की मान्यता रद्द कर देनी चाहिए।
उपाध्याय ने कहा कि इस बाबत कोई खबर मीडिया में भी नहीं आई। इसके बाद निर्वाचन आयोग ने भी कोई तत्परता नहीं दिखायी। उपाध्याय ने बताया कि उन्होंने एक जनहित याचिका सुप्रीम कोर्ट में दायर की है। इस याचिका में सुप्रीम कोर्ट से मांग की गई है कि वह निर्वाचन आयोग को समाजवादी पार्टी की मान्यता रद्द करने का निर्देश दे। उपाध्याय ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने 2018 में कहा था कि कोई भी पार्टी अपराधियों को टिकट नहीं देगी और यदि टिकट देती है तो इलेक्ट्रानिक मीडिया, प्रिंट मीडिया और सोशल मीडिया के जरिए अपराधी का पूरा आपराधिक इतिहास प्रकाशित करेगी।
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भाजपा नेता ने कहा कि 2020 में सुप्रीम कोर्ट में पुन: आदेश दिया कि कोई राजनीतिक दल अपराधी को टिकट नहीं देगा और इलेक्ट्रानिक मीडिया, प्रिंट मीडिया और सोशल मीडिया पर अपराधी का पूरा आपराधिक इतिहास प्रकाशित करेगी। ऐसा ना करने पर निर्वाचन आयोग उस पार्टी के मुखिया के विरुद्ध कार्यवाही करेगी। उन्होंने कहा कि अब जब तक राजनीतिक पार्टियों की मान्यता रद्द नहीं होगी, राजनीति का अपराधीकरण कम नहीं होगा। सुप्रीम कोर्ट लगातार निर्देश देता रहा है, लेकिन निर्वाचन आयोग ने अब तक कोई ठोस कार्यवाही नहीं की।