नशा मुक्ति केंद्र में मरीज की मौत पर दो चिकित्सक न्यायालय में तलब

नैनीताल। द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश राकेश कुमार सिंह की अदालत ने हल्द्वानी के निर्वाण नशा मुक्ति केंद्र में तारीफ इब्राहीम की हत्या के मामले में संस्थान के चिकित्सक डॉ. युवराज सिंह और डॉ. रश्मि पंत को मामले में बतौर अभियुक्त भारतीय दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 319 के तहत 17 सितंबर को न्यायालय में पेश किए जाने के आदेश और समन जारी किए हैं।

अभियोजन की ओर से जिला शासकीय अधिवक्ता-फौजदारी सुशील कुमार शर्मा व सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता पूजा साह ने अदालत को बताया कि मृतक की पत्नी परवीन जहां निवासी लाल मस्जिद मुलुकपुर बरेली द्वारा थाना हल्द्वानी में गत 25 जून को लिखाई गई रिपोर्ट के अनुसार 23 जून को डॉ. रश्मि पंत ने नशा केंद्र में नशा छुड़वाने के लिए भर्ती इब्राहीम सहित 10-12 मरीज भाग गए हैं। इस सूचना पर वह जब केंद्र में पहुंचे तो इब्राहीम बेहोश मिला। जब उसे अस्पताल ले जाया गया तो उसे चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। इस मामले में विवेचनाधिकारी ने आरोपित उमेश बनकोटी पुत्र नारायण दत्त बनकोटी निवासी बनकोट पिथौरागढ़ के खिलाफ आरोप पत्र प्रेषित किया। इस दौरान अभियोजन की ओर से तीन गवाह पेश किए। गवाहों के बयानों के आदेश पर डॉ. रश्मि पंत व डॉ. युवराज के खिलाफ मामले में आपराधिक षडयंत्र और साक्ष्य छुपाने का प्रथम दृष्टया मामला पाया गया है। यह भी स्पष्ट हुआ कि नशा मुक्ति केंद्र के प्रबंधकों ने पुलिस को घटना की कोई सूचना नहीं दी थी और शिकायतकर्ता के दामाद को मरीजों के भागने की झूठी सूचना दी थी। केंद्र में सीसीटीवी भी खराब पाए गए।