राम चरित्र मानस पर चल रहा विवाद अभी शांत भी नहीं हुआ था कि आरजेडी नेता और सहकारिता मंत्री सुरेंद्र प्रसाद यादव (Surendra Prasad Yadav) ने अपने दिए बयान से फिर विवाद खड़ा कर दिया है। सुरेंद्र प्रसाद यादव के बयान से बिहार (Bihar) की राजनीति एक बार फिर गरमा गई है। दरअसल, सुरेंद्र प्रसाद यादव ने कहा, ‘BJP चुनाव जीतने के लिए सेना पर हमले करवाती है।’ यादव के इस बयान पर BJP ने भी अपनी तीखी प्रतिक्रिया दी है।
आरजेडी नेता और बिहार सरकार में सहकारिता मंत्री सुरेंद्र प्रसाद यादव से मीडिया कर्मियों ने सवाल पूछा था कि BJP लगातार दावा कर रही है कि 2024 में लोकसभा चुनाव हम रिकॉर्ड मतों से जीतेगें। इस सवाल का जवाब देते हुए मंत्री सुरेंद्र प्रसाद यादव ने कहा, ‘2024 में सूपड़ा साफ हो जाएगा बीजेपी का। मैं बीजेपी की चुनौती स्वीकार करता हूं।’ इस दौरान मीडिया कर्मियों द्वारा उनसे पूछ गया कि बीजेपी को लेकर कोई आशंका है क्या? क्या कोई बड़ा खेल होगा?
इस पर उन्होंने बोलते हुए कहा, ‘बीजेपी में जब चुनाव आता है तो ज्यादा से ज्यादा आर्मी पर हमला करती है। इस बार तो लगता है किसी कंट्री पर हमला करेगी।’ सहकारिता मंत्री सुरेंद्र प्रसाद यादव के इस बयान के बाद बिहारी की सियासत गरमा गई और बीजेपी ने मंत्री के बयान पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। बीजेपी प्रवक्ता अरविंद कुमार सिंह ने कहा, ‘बीजेपी सेना पर हमला नहीं कराती है। भारतीय सेना तो आतंकियों को मारती है।’
उन्होंने आगे कहा कि, ‘हम लोग तो आतंकवादियों को संरक्षण देने वाली पार्टी नहीं हैं। ये सब राजद का काम है, जो अपराधियों और आतंकियों को संरक्षण देने का काम करती है।’ उन्होंने कहा कि आपके जैसा चरित्रवान लोग इस तरह के बयान देते हैं। कम से कम सेना को तो बख्श दीजिए। राष्ट्र को तो आप लोग नहीं बख्श रहे हैं।
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सुरेंद्र प्रसाद यादव की दबंग नेता के तौर पर होती है पहचान
सुरेंद्र प्रसाद यादव आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसास यादव और उनके बेटे तेजस्वी यादव के काफी करीबी माने जाते हैं। आज भले ही वो बिहार सरकार में मंत्री हो, लेकिन इनकी पहचान एक दबंग नेता के तौर पर होती है। उन पर तीन दर्जन से ज्यादा आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं। बता दें, सुरेंद्र यादव दो बार जनता दल और पांच बार आरजेडी से विधायक रह चुके हैं। 1991 में संसदीय चुनाव में के दौरान पूर्व विधायक जयकुमार पलित को पीटने का आरोप उन पर लगे थे। 1998 में जहानाबाद से लोकसभा सीट से 13 महीने के लिए सांसद भी रहे थे।