पूर्व भाजपा प्रवक्ता द्वारा पैगंबर मोहम्मद को लेकर की गई टिप्पणी को लेकर अरब देशों सहित कई इस्लामिक देशों ने विरोध जताया है। अब इस मामले में एक नई खबर सामने आ रही है। एक रिपोर्ट्स के मुताबिक, ताजा घटनाक्रम में एक नया टूलकिट सामने आया है। जिससे पता चलता है कि पाकिस्तान ने भाजपा नेता नुपुर शर्मा (अब निलंबित) के खिलाफ सोशल मीडिया पर “भारत विरोधी” अभियान शरू किया था।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पाकिस्तान में तैयार किए गए भारत विरोधी टूलकिट से पता चला है। निलंबित भाजपा नेता को निशाना बनाने के लिए कई फर्जी सोशल मीडिया अकाउंट और पत्रकारों और कई राजनेताओं के अकाउंट का इस्तेमाल भारत के खिलाफ अरब जगत में माहौल बनाने के लिए किया गया। सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने रविवार को पार्टी प्रवक्ता नूपुर शर्मा को निलंबित कर दिया था और दिल्ली इकाई के मीडिया प्रमुख नवीन कुमार जिंदल को निष्कासित कर दिया था। क्योंकि पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ उनकी कथित अपमानजनक टिप्पणी को लेकर कुछ मुस्लिम देशों ने आपत्ति जताई थी।
मुस्लिम समूहों के प्रदर्शनों और कुवैत, कतर और ईरान जैसे खाड़ी देशों की तीखी प्रतिक्रिया के बीच, बीजेपी ने एक बयान जारी कर कहा कि वह सभी धर्मों का सम्मान करती है और किसी भी धार्मिक व्यक्तित्व के अपमान की कड़ी निंदा करती है। लगभग 10 दिन पहले एक टीवी डिबेट के दौरान की गई शर्मा की टिप्पणियों और जिंदल के अब हटाए गए ट्वीट्स ने कुछ देशों में अब भारतीय उत्पादों के बहिष्कार का आह्वान करते हुए एक ट्विटर ट्रेंड शुरू किया है।
कई हिंदू अभी भी सोचते हैं कि नूपुर शर्मा ने जो कहा वह ‘अनावश्यक’ था: यहाँ उनके लिए एक आवश्यक पठन है
पार्टी की ओर से की गई कार्रवाई के बाद नुपुर शर्मा ने बिना शर्त अपने विवादास्पद बयान को वापस ले लिया। नूपुर शर्मा ने ट्विटर पर एक बयान जारी कर पैगंबर मुहम्मद पर टिप्पणी करने को लेकर माफी मांगते हुए लिखा, ”मैं पिछले कई दिनों से टीवी डिबेट पर जा रही थी,जहां रोजाना मेरे आराध्य शिव जी का अपमान किया जा रहा था। मेरे सामने यह कहा जा रहा था कि वो शिवलिंग नहीं फव्वारा है, ऐसे शिवलिंग दिल्ली के हर फुटपाथ पर पाए जाते हैं। जाओ जा के कर लो पूजा। मेरे सामने बार-बार इस प्रकार से हमारे देव महादेव शिव जी का अपमान मैं सहन नहीं कर पाई और मैंने रोष में आकर कुछ बातें कह दीं। अगर मेरे शब्दों से किसी की भी धार्मिक भावनाएं आहत हुई हो तो मैं अपने शब्द वापिस लेती हूं। मेरा इरादा किसी को कष्ठ पहुंचाने की कभी नहीं थी।