क्वाड सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की एक तस्वीर आज भी चर्चा का विषय बनी हुई है, इस तस्वीर में वह अन्य देशों के शीर्ष नेताओं की अगुवाई करते हुए नजर आ रहे हैं, इसे बदलते और आगे बढ़ते भारत की तस्वीर के साथ साझा किया जा रहा है लेकिन इसी तस्वीर को लेकर शिवसेना ने सरकार पर हमला बोला है, शिवसेना के मुखपत्र सामना में सांसद संजय राउत ने अपने संपादकीय में जापान क्वाड बैठक में मशहूर हुई उनकी तस्वीर को लेकर कहा की प्रधानमंत्री अन्य देशों के प्रधानमंत्रियों से आगे हैं लेकिन सभी देशों के मुकाबले हमारे देश में बेरोजगारी भी सबसे अधिक है.
वहीं हाल ही में कश्मीर में हुई पुलिस कांस्टेबल की हत्या का जिक्र करते हुए राउत ने कहा की भाजपा को केवल एक समुदाय, एक धर्म का ही बलिदान दिखाई देता है. यह ‘राष्ट्रीय’ एकता का लक्षण नहीं है. उन्होंने कहा कि देश के लिए बलिदान देनेवाले हिंदू का जितना सम्मान होता है, उतना ही सम्मान इस देश के लिए कुर्बानी देनेवाले मुसलमान का भी होना चाहिए.
देश अशांत; भटक रही राजनीति! शीर्षक वाले संपादकीय में संजय राउत ने राजनीति के बदलते स्वरुप पर चिंता जताई है, उन्होंने कहा कि हमारे देश में मौजूदा राजनीति का जो खेल चल रहा है, उसे देखकर सजग जनता का मन कुंठित हो गया है. लोगों को भड़काना, उन्हें आग लगाने के लिए प्रेरित करना यही राजनीति है, ऐसा हमारे नेताओं को लगता है. आंध्र प्रदेश की घटना का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि आंध्र प्रदेश में परिवहन मंत्री के घर को गुस्साए लोगों ने जला दिया वजह क्या? तो नवगठित कोनासीमा जिले का नाम बदलकर डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर कोनासीमा जिला रख दिया गया। इस पर लोग भड़क गए और मंत्री के घर में आग लगा दी.
उन्होंने कहा कि डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर के नाम का इतना विरोध होना, इस पर मुझे हैरानी हो रही है. बाबासाहेब आंबेडकर के नाम से यह देश खड़ा है और उनके नाम का विरोध होना, आश्चर्यजनक है.उन्होंने पूछा कि देश की नई पीढ़ी किस दिशा में जा रही है? ऐसे समय पर विश्व का मार्गदर्शन करनेवाले प्रधानमंत्री मोदी मौन हैं, इसका आश्चर्य है.
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संजय राउत ने जम्मू कश्मीर में आतंकी गतिविधि का मुद्दा उठाते हुए कहा कि श्रीनगर के सौरा क्षेत्र में मंगलवार को आतंकवादियों ने एक पुलिस कॉन्स्टेबल की गोली मारकर हत्या कर दी. इस हमले में पुलिस कर्मचारी की सात वर्ष की बेटी जख्मी हो गई. पुलिस कॉन्स्टेबल कश्मीरी पंडित नहीं था. उसका नाम सैफुल्लाह कादरी था, आतंकवादियों ने उसके घर में घुसकर गोली मार दी. इससे पहले पुलवामा में एक पुलिस उपाधीक्षक की आतंकियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी, कश्मीर घाटी में पिछले दो महीनों में 12 मुस्लिम पुलिस अधिकारी मारे गए हैं. यह वहां की सच्चाई है. उन्होंने कहा कि हिंदू और मुसलमान की परवाह किए बिना कश्मीर घाटी में आतंकवादियों का खूनी खेल जारी है. जो लोग देश की तरफ हैं, उन्हें खत्म करना आतंकियों की नीति है. भाजपा को केवल एक समुदाय, एक धर्म का ही बलिदान दिखाई देता है. यह ‘राष्ट्रीय’ एकता का लक्षण नहीं है.