उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ स्थिति आम आदमी पार्टी (आप) के कार्यालय में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए पार्टी के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश के मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को शिक्षा पर खुली बहस की चुनौती दी थी। इस चुनौती को स्वीकार करते हुए उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया मंगलवार को उत्तर प्रदेश पहुंचने वाले हैं, लेकिन अभी तक उत्तर प्रदेश सरकार और उत्तर प्रदेश के मंत्री सिद्धार्थ नाथ की तरफ से समय और जगह तय नहीं की गई है। ना ही इस पर उनका कोई बयान आया है।
सिसोदिया को लेकर संजय सिंह ने भरी हुंकार
संजय सिंह ने कहा कि कल दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया उत्तर प्रदेश में बहस करने के लिए आ रहे हैं। लगातार समय बीतता जा रहा है, पहले 24 घंटे, फिर 48 घंटे और फिर 72 घंटे बीत गए, लेकिन सिद्धार्थ नाथ जी की तरफ से कोई जवाब नहीं आया है। हम सोच रहे थे कि उत्तर प्रदेश के माननीय मंत्री सिद्धार्थ नाथ जी ने जो ऐलान किया है, उस चुनौती को स्वीकार करेंगे और मनीष सिसोदिया से बहस करने के लिए तैयार होंगे, लेकिन अभी तक एक भी शब्द सिद्धार्थ नाथ जी की तरफ से नहीं आया है।
संजय सिंह ने आगे कहा कि हम दिल्ली के केजरीवाल मॉडल और यूपी के आदित्यनाथ मॉडल पर खुली बहस करना चाहते हैं। यह बहस चाहे शिक्षा पर हो, स्वास्थ्य पर हो, बिजली पर हो, पानी पर हो, महिला सुरक्षा पर हो या फिर बुजुर्गों की पेंशन पर हो। हम हर मुद्दे पर खुली बहस करने के लिए तैयार हैं। इसी खुली बहस के लिए मनीष सिसोदिया उत्तर प्रदेश आ रहे हैं। लेकिन अभी तक सिद्धार्थ नाथ जी की तरफ से बहस करने के लिए समय और स्थान बताने और चुनौती को स्वीकार करने के लिए एक भी शब्द नहीं कहा गया है।
संजय सिंह ने आगे कहा कि मैं एक बेहद ही गंभीर बात आप लोगों के साथ साझा करना चाहता हूं। उन्होंने कहा कि हमें इस प्रकार की जानकारी प्राप्त हो रही है, ऐसा कहा जा रहा है कि जब मनीष सिसोदिया जी उत्तर प्रदेश में आएं तो उन पर हमले करवाओ, विकास के मुद्दों पर, स्कूल की व्यवस्थाओं पर उनके साथ बहस तो दूर उनको उत्तर प्रदेश के सरकारी गेस्ट हाउस में रुकने तक नहीं देना है, वह जहां भी जाएं वहां पर हल्ला करो, हंगामा करो, उनका विरोध करो।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी को चेतावनी देते हुए संजय सिंह ने कहा कि कल दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया आपकी उत्तर प्रदेश सरकार के एक मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह जी के आमंत्रण पर बहस के लिए आ रहे हैं। यदि उन पर किसी भी प्रकार का कोई हमला या उनके साथ किसी भी प्रकार की कोई दुर्घटना, दुर्व्यवहार होता है, तो उसके लिए सीधे तौर पर आप और आपकी सरकार जिम्मेदार होगी।
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संजय सिंह ने कहा कि हमें जो जानकारी प्राप्त हुई, हमने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के साथ इस मंच के माध्यम से साझा कर दी है। कल दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया जी उत्तर प्रदेश आ रहे हैं। अब यह योगी आदित्यनाथ जी की जिम्मेदारी है, कि वह एक प्रदेश के उपमुख्यमंत्री को सुरक्षा उपलब्ध कराएं, उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करें।
एक अन्य बिंदु पर पत्रकारों को संबोधित करते हुए संजय सिंह ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने आम आदमी पार्टी पर ऑक्सीमीटर की खरीद में भ्रष्टाचार का आरोप लगाया था। मैं पिछले 3 दिन से भारतीय जनता पार्टी के इन मंदबुद्धि लोगों से एक ही प्रश्न पूछ रहा हूं, कि आपको टेबल टॉक ऑक्सीमीटर और सामान्य ऑक्सीमीटर का अंतर पता चला या नहीं पता चला? परंतु अभी तक भारतीय जनता पार्टी की ओर से किसी प्रकार की कोई प्रतिक्रिया, कोई जवाब हमें प्राप्त नहीं हुआ है।
संजय सिंह ने कहा कि मैं भारतीय जनता पार्टी के उन लोगों से यह कहना चाहता हूं, कि टेबल टॉक ऑक्सीमीटर को सामान्य ऑक्सीमीटर बताकर भ्रष्टाचार के आरोप लगाकर इस प्रकार से भागो मत, आओ जनता के सामने खुले मंच पर बहस करो, ताकि जनता को भी आपकी इस गंदी और नीच राजनीति के बारे में पता चल सके। आओ और देश की जनता को बताओ कि तुम लोगों ने श्मशान में दलाली क्यों खाई थी? 800 रुपए का ऑक्सीमीटर 5000 रुपए में क्यों खरीदा था? 1600 रुपए का थर्मोमीटर 13000 रूपए में क्यों खरीदा था? देश की जनता को बताओ किस दलाली में किसको कितना हिस्सा मिला था?
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उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर हमला बोलते हुए संजय सिंह ने कहा कि आदित्यनाथ जी ने एक एसआईटी कमेटी का गठन किया था और उत्तर प्रदेश की जनता से वादा किया था, कि इस भ्रष्टाचार के संबंध में 10 दिन में रिपोर्ट आ जाएगी और दोषियों को जेल भेजा जाएगा। उत्तर प्रदेश की जनता और आम आदमी पार्टी यह जानना चाहती है, कि उस एसआईटी कमेटी की जांच का क्या हुआ? कितने लोगों को पकड़ा गया? कितने लोगों को जेल भेजा गया? या फिर उसमें भी दलाली खा कर एसआईटी की रिपोर्ट ठंडे बस्ते में डाल दी गई।