साथी को छुड़ाने के लिए सुप्रीम कोर्ट का जज बनकर एसपी में बनाया दबाव, और फिर…

खुद को सुप्रीम कोर्ट का जज बताकर एसपी पर रौब-गालिब करने वाले दो आरोपितों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। आरोपित एसपी पर सुनील राठी के ममेरे भाई रविंद्र को छोड़ने के लिए दबाव बना रहे थे।

एसपी को फोन कर बुरा फंसा आरोपी

कोतवाली बागपत में सोमवार को प्रेसवार्ता में सीओ मंगल सिंह रावत ने बताया कि 14 फरवरी को एसपी के पीआरओ मनोज कुमार ने कोतवाली पर शिकायत दर्ज कराई थी। जिसमें उन्होंने बताया था कि एसपी के सीयूजी नंबर पर किसी व्यक्ति द्वारा खुद को सर्वोच्च न्यायालय का जज बताकर कुर्डी निवासी रविंद्र को पकड़ने के बारे में जानकारी ली थी और उसे छोड़ने के लिए दबाव भी बनाया था।

फोन पर हुई बातचीत के आधार पर धोधाखड़ी होने का अंदेशा है। जिसमें कोतवाली पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच पड़ताल शुरू कर दी। इस मामले में जांच शुरू हुई तो मोबाइल नंबर गाजियाबाद के समय सिंह का निकला, जिसके मोबाइल फोन से मुजफ्फरनगर के शाहपुर निवासी खालिद हसन पुत्र याकूब ने कॉल की थी। उन्होंने बताया कि दोनों आरोपितों को बागपत के राष्ट्र वंदना चैक से गिरफ्तार कर पूछताछ की। जिसमें उन्होंने कई अहम जानकारी दी। पकडे गए आरोपितों से मोबाइल फोन भी बरामद किया गया।

अफसर जमाल का नाम आया सामने

सीओ मंगल सिंह रावत का कहना है कि पकड़े गए अभियुक्तों ने पूछताछ में बताया कि उनके साथी अपना दल के प्रदेश उपाध्यक्ष अफसर जमाल के कहने पर कॉल की थी। जिसने रविंद्र को छुड़ाने पर कुछ मिलने की बात कहीं थी। जिस पर खालिद ने समय सिंह के फोन से कॉल करने की प्लानिंग बनाई और खुद को सुप्रीम कोर्ट का जज बताकर एसपी से रविंद्र को छोड़ने के लिए बातचीत की। इससे पहले भी यह कई मामलों में अधिकारी बनकर रोब गालिब कर चुका है।

नेता बनने की चाहत में पहुंच गया जेल

खालिद ने बताया कि मुजफ्फरनगर के टोड्डा निवासी अफसर जमाल उसे अपना दल पार्टी ज्वाइन कराना चाहता था। जिसके लिए वह एक बार अफसर जमाल के साथ लखनऊ भी गया था। नोएड़ा की कंपनी में काम करते है दोनों आरोपी पकड़े गए

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अभियुक्त खालिद व समय सिंह ने बताया कि दोनों नोएडा की अलग-अलग वाशिंग मशीन बनाने वाली कंपनी में सेल्स प्रमोटर के रूप में काम करते है। जहां उनकी दोस्ती हो गई थी और पहले भी इस तरह कॉल कर एक दो काम करवा चुके है। एसपी बागपत को उन्होंने लालच में आकर कॉल की थी।