पाकिस्तान के विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो जरदारी गोवा में चार एवं पांच मई को होने वाली शंघाई सहयोग संगठन (SCO) की बैठक में शामिल होने के लिए भारत आएंगे। पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने यह जानकारी दी है। साल 2014 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शपथ ग्रहण समारोह के बाद पाकिस्तान के किसी बड़े नेता की यह पहली भारत यात्रा होने जा रही है। पीएम मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में पाकिस्तान के तत्कालीन प्रधानमंत्री नवाज शरीफ दिल्ली आए थे।

पिछला समिट समरकंद में हुआ था
इस साल एससीओ की अध्यक्षता भारत के पास है। साल 2022 में यह सम्मेलन उज्बेकिस्तान के समरकंद में हुआ था। साल 2017 में भारत को इस संगठन का पूर्णकालिक सदस्य बनाया गया। तब से भारत संगठन के सदस्य देशों के आपसी हितों के लिए कई प्रस्ताव पेश कर चुका है।
सदस्य देशों के मंत्रियों के साथ शाह करेंगे बैठक
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह गुरुवार को एससीओ देशों के अधिकारियों के साथ एक बैठक करेंगे। ये अधिकारी आपात स्थिति बनने से रोकने एवं उसके उन्मूलन से जुड़े हैं। इसके अलावा शाह एसीओ बैठक से इतर संगठन के कुछ मंत्रियों के साथ द्विपक्षीय बैठकें भी करेंगे। एससीओ में चीन, भारत, कजाकिस्तान, रूस, पाकिस्तान, ताजिकिस्तान एवं उज्बेकिस्तान शामिल हैं।
2011 में हीना रब्बानी खार भारत आई थीं
इससे पहले पाकिस्तान के किसी विदेश मंत्री का भारत दौरा साल 2011 में हुआ था। उस समय वहां की तत्कालीन विदेश मंत्री हीना रब्बानी खार भारत दौरे पर आई थीं। उस समय केंद्र में पीएम मनमोहन सिंह के नेतृत्व में यूपीए की सरकार थी। 2011 में भारत के विदेश मंत्री एसएम कृष्णा थे।
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बिलावल ने पीएम मोदी पर की विवादित टिप्पणी
इससे पहले दिसंबर 2022 में बिलावल ने प्रधानमंत्री मोदी पर विवादित टिप्पणी की थी। इसके चलते उन्हें अपने ही देश में आलोचनाओं का शिकार होना पड़ा था। दरअसल, यूएन की बैठक में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने पाकिस्तान पर आतंकवाद को पालने-पोसने का आरोप लगाया था। जिसके जवाब में बिलावल भुट्टो ने पीएम मोदी पर विवादित बयान दिया।
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