किन्नौर भूस्खलन: अचानक पहाड़ों से बरसने लगे पत्थर, रुका बचाव कार्य, 13 शव बरामद

हिमाचल प्रदेश के किन्नौर जिला की निचार तहसील के निगुलसरी में नेशनल हाईवे पर बुधवार को हुए भारी भूस्खलन में दबे लोगों को निकालने का अभियान गुरुवार सुबह साढ़े 11 बजे रोक दिया गया। भूस्खलन वाली जगह पर पहाड़ी से पत्थरों के गिरने के कारण राहत एवं बचाव कार्य को रोकना पड़ा है। इससे पहले आज सुबह छह बजे बचाव दलों ने राहत कार्य शुरू किया था और तीन और शवों को मलबे से निकाला गया।

किन्नौर भूस्खलन में मिली दुर्घटनाग्रस्त बस

किन्नौर भूस्खलन अब तक 13 लोगों के शव बरामद किए जा चुके हैं। एचआरटीसी बस चकनाचूर हालत में सतलुज नदी के किनारे चट्टानों में दबी मिली है। हादसे के 32 घंटे बाद आईटीबीपी के जवान बस को मलबे से निकालने में कामयाब हुए।

घटनास्थल का मंजर बेहद खौफनाक है। बस के परखच्चे उड़ गए हैं और टायर, दरवाजे आदि अलग-थलग पड़े हैं। चट्टानों के नीचे दबने से बस टुकड़ों में तब्दील हो चुकी है। बस की स्थिति को देखते हुए इसमें सवार यात्रियों के बचने की सम्भावना बहुत कम है। बस के चालक और परिचालक सुरक्षित हैं और उनके मुताबिक बस में 24 यात्री सफर कर रहे थे। ये बस किन्नौर के मुरंग से हरिद्वार की तरफ जा रही थी। आइटीबीपी का बचाव दल चट्टानों को हटाकर लापता लोगों की तलाश कर रहा है।

हिमाचल के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर हालात का जायजा लेने के लिए किन्नौर रवाना हो गए हैं। बचाव अभियान में एनडीआरएफ, आईटीबीपी, स्थानीय पुलिस व होमगार्ड के जांबाजों ने पूरी ताकत झोंक दी है।

राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के निदेशक सुदेश कुमार मोक्टा ने बताया कि गुरुवार सुबह छह बजे रेस्क्यू ऑपरेशन दोबारा शुरू हुआ और तीन और शव घटनास्थल से बरामद किए गए। इन्हें पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। अब तक 13 शव बरामद किए गए हैं, जबकि 13 लोगों को घटनास्थल से सुरक्षित निकालकर उपचार के लिए भावानगर सामुदायिक अस्पताल मे भर्ती किया गया है।

उन्होंने बताया कि राहत व बचाव दलों ने रिकांगपिओ-हरिद्वार रूट की एचआरटीसी बस को गुरुवार सुबह आठ बजे खोज निकाला गया। पहाड़ी से गिरी चट्टानों की जद में आने से बस पूरी तरह तबाह हुई है और राहत दल लापता यात्रियों के रेस्कयू में लगे हैं। उन्होंने बताया कि पहाड़ी से पत्थरों के गिरने के कारण राहत कार्य फिलहाल रोक दिया गया है। फंसे लोगों को निकालने के लिए चल रहे बचाव अभियान में एनडीआरएफ के 56, आईटीबीपी की 17वीं बैटालियन के 52 और पुलिस के 30 जवान शामिल हैं।

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मोक्टा ने बताया कि 10 मृतकों की शिनाख्त कर ली गई है। दो वर्षीय बच्ची की भी इस दर्दनाक हादसे में मौत हुई है। मृतकों में रामपुर निवासी रोहित (23), हमीरपुर के सुजानपुर टीहरा निवासी विजय कुमार (32), किन्नौर की निचार निवासी मीना देवी, नितीशा, किन्नौर की पूह निवासी प्रेम कुमारी (42), सोलन की पिपलूधार निवासी कमलेश कुमारी (34), किन्नौर की सांगला निवासी वंशुका (2) और ज्ञान दासी, निचार निवासी देवी चंद (53) और राधिका (22) शामिल हैं।