नई दिल्ली: बीते कुछ दिनों से भारत समेत कई देशों में एयरलाइंस कंपनियों को फ्लाइट ऑपरेशन में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। खासतौर पर इंडिगो की उड़ानों पर इसका सबसे ज्यादा असर देखने को मिला है। बीते चार दिनों में एयरलाइन की 1300 से ज्यादा फ्लाइटें कैंसिल हो चुकी हैं। इसका सीधा असर यात्रियों पर पड़ा है। मुंबई, दिल्ली, बेंगलुरु और हैदराबाद जैसे बड़े एयरपोर्ट्स पर यात्रियों को 10 से 12 घंटे तक इंतजार करना पड़ा, जबकि कुछ यात्रियों को 24 घंटे से ज्यादा समय तक एयरपोर्ट पर ही रुकना पड़ा।
ऐसे हालात में यात्रियों के लिए यह जानना बेहद जरूरी हो जाता है कि अगर उनकी फ्लाइट लेट होती है तो एयरलाइंस कंपनियां उन्हें कौन-कौन सी सुविधाएं देने के लिए बाध्य हैं। नागरिक उड्डयन नियामक डीजीसीए (DGCA) ने साल 2019 में इसको लेकर साफ नियम बनाए हैं, जिनका पालन सभी एयरलाइंस कंपनियों को करना होता है।
चेक-इन के बाद फ्लाइट लेट हो जाए तो क्या मिलेगा?
अगर कोई यात्री तय समय पर एयरपोर्ट पहुंचकर चेक-इन कर चुका है और इसके बाद फ्लाइट लेट होने की जानकारी मिलती है, तो एयरलाइंस कंपनी मुआवजा देने की जिम्मेदार होती है। इस स्थिति में यात्रियों के लिए मुफ्त में खाना और रिफ्रेशमेंट की व्यवस्था करना एयरलाइंस की जिम्मेदारी है।
ओवरबुकिंग पर यात्रियों के अधिकार
कई बार एयरलाइंस कंपनियां तय सीटों से ज्यादा टिकट बेच देती हैं। अगर इस वजह से आपको फ्लाइट में बोर्डिंग से रोका जाता है, तो कंपनी को आपके लिए वेटिंग की पूरी व्यवस्था करनी होगी। इसके साथ ही दूसरी फ्लाइट से यात्रा कराने का विकल्प भी देना होगा।
घरेलू फ्लाइट 6 घंटे से ज्यादा लेट हो तो
अगर घरेलू उड़ान 6 घंटे से ज्यादा देरी से रवाना होती है, तो एयरलाइंस को इसकी जानकारी यात्रियों को कम से कम 24 घंटे पहले देनी होगी। इसके अलावा यात्रियों के लिए वैकल्पिक फ्लाइट की व्यवस्था करना भी जरूरी है। अगर कोई यात्री यात्रा नहीं करना चाहता और रिफंड मांगता है, तो एयरलाइंस को पूरा पैसा लौटाना होगा।
24 घंटे से ज्यादा की देरी पर क्या नियम हैं?
अगर फ्लाइट 24 घंटे से ज्यादा लेट होती है, तो एयरलाइंस कंपनी को यात्रियों के लिए होटल में ठहरने और खाने-पीने की पूरी व्यवस्था करनी होगी। इसके लिए यात्रियों से कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लिया जा सकता। वहीं, रात 8 बजे से सुबह 3 बजे के बीच की फ्लाइट अगर 6 घंटे से ज्यादा लेट होती है, तो भी यात्रियों को होटल और भोजन की सुविधा देना एयरलाइंस की जिम्मेदारी है।
यात्रियों के लिए जरूरी सलाह
फ्लाइट में देरी या कैंसिलेशन की स्थिति में घबराने की बजाय अपने अधिकारों की जानकारी रखें। डीजीसीए के नियमों के तहत मिलने वाली सुविधाओं की मांग करना आपका हक है।
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