उत्तर प्रदेश के समाजवादी पार्टी गठबंधन में चल रही कलह अब तलाक तक पहुंच चुकी है। सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के मुखिया ओम प्रकाश राजभर ने खुद इस बात की जानकारी दी है। उन्होंने कहा कि अखिलेश जी के साथ तलाक के पेपर तैयार हैं और हम भी कबूल करने के लिए तैयार हैं, बस एक बार वो दस्तखत कर दें।
वहीं, बसपा के साथ गठबंधन की अटकलों पर राजभर ने कहा, “हमारा प्रयास होगा कि बाब साहब डॉ. अंबेडकर जी के विचारों को और महात्मा ज्योतिबा फुले, सावित्री बाई फुले जैसे महापुरुषों के विचारों को आगे बढ़ाएं। जो लड़ाई हमारी है- जातिवार जनगणना, एकसमान अनिवार्य फ्री शिक्षा, घरेलू बिजली का बिल माफ करना, गरीबों को मुफ्त चिकित्या व्यवस्था और प्रदेश में अमन-चैन हो। इन मुद्दों को लेकर हम लड़ते हैं, तो जो साथ आना चाहे आए, जिसे नहीं आना वो ना आए।”
ओपी राजभर ने कहा कि मायावती भी इसको स्वीकार करती हैं। वो भी अपने बयानों में जातिवार जनगणना चाहती हैं क्योंकि डॉ. अंबेडकर ने संविधान में व्यवस्था दी कि हर साल में जातिवार जनगणना होनी चाहिए, लेकिन 1931 के बाद अब तक जातिवार जनगणना नहीं हुई।
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वहीं, समाजवादी पार्टी की तरफ से दावा किया जा रहा है कि राजभर बीजेपी से नजदीकियां बढ़ा रहे हैं। इस पर उन्होंने कहा, “आजमगढ़ उपचुनाव में ईमानदारी से हमारे 6 विधायकों ने 300 कार्यकर्ताओं को लेकर वहां काम किया। पूरे प्रदेश के नेता और समाजवादी पार्टी के नेता भी खुद इस बात को स्वीकार करते हैं। तब तो मेरी दूरियां नहीं थी। सिर्फ एक ही बात मैंने कही कि एसी से निकलकर अखिलेश आए होते तो हम चुनाव जीत जाते, इसमें क्या गलत कह दिया जो तिल का ताड़ बना रहे हैं।”
बता दें कि राष्ट्रपति चुनाव में सुभासपा के 6 विधायकों ने अखिलेश के खिलाफ जाकर एनडीए की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू को वोट दिया था। वहीं, अब शासन के निर्देश पर राजभर को वाई श्रेणी की सुरक्षा भी मुहैया कराई गई है। इस बीच चर्चा है कि आने वाले समय में वो बीजेपी के साथ जाने का ऐलान कर सकते हैं।