सोशल नेटवर्किंग वेबसाइट ट्विटर के साथ जारी विवाद के बीच केंद्र की सत्तारूढ़ मोदी सरकार ने अब और आक्रामक रवैया अख्तियार कर लिया है। दरअसल, नए डिजिटल नियमों को लेकर सरकार ने ट्विटर को तगड़ा अल्टीमेटम दिया है। आईटी मंत्रालय की तरफ से भेजे गए नोटिस में साफ-साफ कहा गया है कि कंपनी जल्द से जल्द नए नियम लागू करे नहीं तो उसे गंभीर परिणाम भुगतना पड़ सकता है। सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद की अध्यक्षता में आईटी के प्रमुख वरिष्ठ अधिकारियों के साथ 4 जून को हुई बैठक में ये फैसला लिया गया है।
मोदी सरकार ने ट्विटर को थमाई नोटिस
मोदी सरकार ने कहा कि ट्विटर को नए आईटी नियमों का पालन करने के लिए आखिरी नोटिस दिया जा रहा है। अगर नियमों का पालन नहीं हुआ तो आईटी एक्ट 2000 की धारा 79 के तहत मिली छूट को खत्म कर दिया जाएगा और ट्विटर को आईटी एक्ट के तहत कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।
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इससे पहले ट्विटर ने आज भारत के उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू के निजी और आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत समेत तीन बड़े नेताओं की ट्विटर अकाउंट को अनवेरिफाइड कर दिया था, हालांकि बाद में ट्विटर ने ब्लू टिक रिस्टोर कर दिया। मामले पर ट्विटर की तरफ से मोदी सरकार को सफाई दी गई कि जुलाई 2020 से अकाउंट इनएक्टिवेट है। हमारी सत्यापन नीति के अनुसार अगर अकाउंट इनएक्टिवेट हो जाता है तो ट्विटर ब्लू टिक और वेरिफाइड स्टेटस हटा सकता है।