उत्तर प्रदेश के चित्रकूट की जिला जेल में शुक्रवार सुबह एक कैदी ने 2 अन्य कैदियों को बंधक बनाकर गोलियों से भून डाला। दोनों कैदियों की मौके पर ही मौत हो गयी। जेल परिसर में मौके पर पहुंचे अतिरिक्त सुरक्षा बलों ने दोनों कैदियों को हत्यारोपी को काबू करने के लिए काफी देर तक समझाया। लेकिन आरोपी बाकी कैदियों को भी गोलियों ने भून डालने की धमकी देता रहा। लिहाजा सुरक्षाबलों ने आरोपी कैदी को मौके पर ढेर कर दिया। फिलहाल खबर लिखे जाने तक चित्रकूट जिलाधिकारी व जिले के बाकी तमाम पुलिस अफसर मौके पर ही मौजूद हैं। जेल के अंदर हुई इस खून खराबे की घटना में कुल तीन कैदियों के मारे जाने की पुष्टि हुई है।
घटनाक्रम की पुष्टि शुक्रवार दोपहर यूपी जेल महानिदेशक आनंद कुमार ने भी की। डीजी जेल के मुताबिक, दो कैदियों की हत्या को अंजाम देने वाले कैदी का नाम अंशू दीक्षित है। अंशू कुछ दिन पहले ही प्रशासनिक आधार पर सुल्तानपुर जिला जेल से चित्रकूट जेल में शिफ्ट किया गया था। बदमाश अंशू दीक्षित ने जिन कैदियो की गोली मार कर हत्या की है उनका नाम मुकीम काला और मेराज अली है। बताया जा रहा है कि मेराज अली मुख्तार अंसारी का करीबी है। घटना शुक्रवार सुबह करीब दस बजे घटी। पता चला है कि जिन दो कैदियों की हत्या की गयी है उन्हें हाल ही में अलग अलग जेलों से शिफ्ट करके चित्रकूट जेल में लाकर बंद किया गया था। मारा गया कैदी मेराज अली वाराणसी जेल से और मुकीम काला यूपी की ही सहारपुर जेल से शिफ्ट करके लाया गया था। मारा गया कैदी मेराज अली उर्फ मेराजुद्दीन 20 मार्च 2021 को ही वाराणसी जेल से चित्रकूट जेल में शिफ्ट किया गया था। जबकि दूसरा मारा गया कैदी मुकीम काला 7 मई 2021 को सहारपुर जेल से यहां लाया गया था।
मौके पर पहुंचे डीएम
घटना के पीछे की वजह अभी तक साफ नहीं हो सकी है। यूपी जेल महानिदेशालय के मुताबिक, सुबह करीब 10 बजे कैदी अंशू दीक्षित ने जेल परिसर में पांच कैदियों को बंधक बना लिया था। जेल स्टाफ ने जब उसे समझाने की कोशिश की तो, वो उन पांचों की हत्या की धमकी देने लगा। किसी भी तरह से हालात काबू होते न देख मौके पर चित्रकूट जिलाधकारी और पुलिस अधीक्षक मय अतिरिक्त पुलिस बल के पहुंच गये। उन लोगों ने भी अंशू दीक्षित को समझाने की कोशिशें की। इसके बाद भी वो और ज्यादा उग्र होकर सभी बंधक कैदियों को मारने की धमकियां लगातार देता रहा।
पुलिस एनकाउंटर में आरोपी ढेर
लिहाजा कोई रास्ता न निकलता देख डीएम के आदेश पर पुलिस ने हत्यारोपी कैदी अंशू दीक्षिक को भी घेरकर मार डाला। पता चला है कि दो कैदियों का हत्यारोपी कैदी अंशू दीक्षित 8 दिसंबर 2019 को सुलतानपुर जेल से चित्रकूट जेल में शिफ्ट किया गया था। यूपी जेल महानिदेशालय के मुताबिक, खबर लिखे जाने तक जिलाधिकारी और चित्रकूट के पुलिस अधीक्षक मय अतिरिक्त पुलिस फोर्स जेल के अंदर ही डेरा डाले हुए हैं। आशंका इस बात की जताई जा रही है कि, कहीं अंशू दीक्षित के ढेर कर दिये जाने की खबर से जेल में बंद उसके समर्थक कैदी किसी तरह का कोई बबाल पैदा न कर दें। साथ ही जेल की सुरक्षा में अतिरिक्त बल भी तैनात कर दिया गया है। जिस जगह खून खराबा हुआ वहां पुलिस को तीन कैदियों की लाशों के पास ही असलहा भी पड़ा मिला है।
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जेल में कैसे पहुंचा असलहा
माना जा रहा है कि इसी हथियार से अंशू दीक्षित ने बाकी दो साथी कैदियों को कत्ल किया था। जिला प्रशासन इस बात की जांच कर रहा है कि आखिर, जिला जेल चित्रकूट के अंदर वो हथियार कैसे पहुंचा, जिससे अंशू दीक्षित ने दो कैदियों की हत्या कर दी। साथ ही इस बात का भी पता लगाने की कोशिशें जारी हैं, कि वह क्या वजह है जिसके चलते अंशू दीक्षित ने बाकी दो कैदियों की हत्या उनके चित्रकूट जेल में पहुंचने के चंद दिन बाद ही कर दी। उत्तर प्रदेश जेल महानिदेशालय के मुताबिक, हादसे का मौका मुआयना करने के लिए प्रयागराज रेंज के प्रभारी उप-महानिरीक्षक (जेल) प्रयाग पांडे को भेजा गया है।